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एक दिन के लिए फिनलैंड की PM बनाई गई 16 वर्षीय लड़की; वजह जानें
Last Updated on October 8, 2020 by
नई दिल्ली। जलवायु और मानवाधिकारों के मुद्दों पर सक्रिय रूप से अभियान चलाने वाली 16 साल की एक किशोरी को एक दिन के लिए फिनलैंड (Finland) की पीएम बनाया गया। लड़कियों के अधिकारों को बढ़ावा देने के लिए वैश्विक ‘गर्ल्स टेकओवर’ अभियान के तहत 16-वर्षीय ऐवा मुर्तो को एक दिन के लिए देश की कमान सौंपी गई। बतौर रिपोर्ट्स, देश से लिंगभेद मिटाने के एक अभियान के हिस्से के रूप में को एवा मुर्तो (Aava Murto) यह सम्मान दिया गया।
मुर्तो ने बताया लड़कियों को क्या समझने की जरूरत है
बकौल मुर्तो, उनका संदेश है कि लड़कियों को ‘यह समझने की ज़रूरत है कि वे कितनी महत्वपूर्ण हैं और वे कैसे लड़कों के जैसे ही टेक्नोलॉजी में अच्छी’ हैं। इस एक दिन के कार्यकाल में मुर्तो राजनेताओं से मुलाकात करेंगी और तकनीक में महिलाओं के प्रतिनिधित्व और उनके अधिकारों पर बात करेंगी। मानवतावादी संगठन प्लान इंटरनेशनल की ‘गर्ल्स टेकओवर’ पहल में फिनलैंड की भागीदारी का यह चौथा वर्ष है। यह संगठन दुनियाभर के देशों के किशोरों को एक दिन के लिए नेताओं और अन्य क्षेत्रों के प्रमुखों की भूमिका निभाने की अनुमति देता है।
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इस वर्ष संगठन का जोर लड़कियों के लिए डिजिटल कौशल और तकनीकी अवसरों को बढ़ावा देने पर है। पीएम मारिन ने एक दिन के लिए अपना पद किशोरी एवा मुर्तो के लिए छोड़ दिया है। दुनिया में सबसे कम उम्र की पीएम के तौर पर केवल 34 साल की उम्र में शपथ लेने वाली मारिन ने जोर देकर कहा कि टेक्नोलॉजी की ‘सभी के लिए सुलभता’ सुनिश्चित करना बेहद जरूरी है। बता दें कि मारिन फिनलैंड की तीसरी महिला पीएम हैं और 4 अन्य पार्टियों के साथ केंद्र में गठबंधन का नेतृत्व करती हैं। इन चारों पार्टियों की अध्यक्ष महिलाएं हैं और इनमें से 3 की उम्र 35 साल से कम है।