-
Advertisement
भारत के सबसे पुराने दुर्ग में शुमार है ये
Last Updated on March 4, 2020 by
कांगड़ा दुर्ग हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा कस्बे के बाहरी सीमा में फैला हुआ एक दुर्ग है। इस दुर्ग का उल्लेख सिकंदर महान के युद्ध संबंधि रिकार्डों में प्राप्त होता है जिससे इसके इसापूर्व चौथी शताब्दी में विद्यमान होना सिद्ध होता है। कांगड़ा दुर्ग का निर्माण कांगड़ा राज्य (कटोच वंश) के राजपूत परिवार ने करवाया था, जिन्होंने खुद को प्राचीन त्रिगत साम्राज्य, जिसका उल्लेख महाभारत, पुराण में किया गया है के वंशज होने का प्रमाण दिया था।
ये हिमाचल में मौजूद दुर्ग में सबसे विशाल और भारत के सबसे पुराने दुर्ग में शुमार है। सं 1615 में, मुग़ल सम्राट अकबर ने इस किले पर घेराबंदी की थी परंतु वो इसमें असफल रहा। इसके पश्चात सं 1620 में, अकबर के पुत्र जहांगीर ने चंबा के राजा, जो इस क्षेत्र के सभी राजाओ में सबसे बड़े थे, को मजबूर करके इस किले पर कब्ज़ा कर लिया। मुगल सम्राट जहांगीर ने सूरज मल की सहायता से अपने सैनिकों को इस किले प्रवेश करवाया था। 1789 में राजा संसार चंद ने अपने पूर्वाजो के प्राचीन दुर्ग को बचा लिया।