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शिमला। एसिड अटैक के एक मामले में अदालत ने एक व्यक्ति को दोषी करार देते हुए 14 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही पचास हजार रुपये जुर्माना भी किया है। जुर्माना अदा न करने की सूरत में एक साल का साधारण कारावास भुगतना होगा। साथ ही आईपीसी की धारा 323 के तहत छह महीने के साधारण कारावास की सजा भी सुनाई गई है। एक हजार रुपये का जुर्माना किया है।
जुर्माना न भरने की सूरत में एक माह का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा। सभी सजाएं साथ-साथ चलेंगी। इसके अलावा अदालत ने सरकार को एचपी विकटिम ऑफ क्राइम कंपेनसेशन स्कीम 2012 के प्रावधानों के अनुसार पीड़ित को प्रति माह दस हजार रुपये राहत देने के भी निर्देश दिए हैं। साथ ही अगर पीड़ित चाहे तो उसे शेल्टर होम या ओल्ड ऐज होम में रखने के भी निर्देश दिए हैं।बता दें कि 3 दिसंबर 2014 को सुबह तीन बजे राम चंद ने किसी व्यक्ति के चीखने की आवाज सुनीं। वह भाग कर स्पॉट पर गया तो वहां पर हैंडपंप के पास पिंकू राम पड़ा था। पिंकू ने बताया कि सुख पाल पुत्र मंगो राम पोस्ट ऑफिस पधर तहसील पधर जिला मंडी ने उस पर एसिड फैका व कुल्हाड़ी से हमला किया। इस बात की जानकारी पुलिस को दी गई व पुलिस ने जांच शुरू कर दी।
जांच के दौरान मौका-ए-वारदात पर फोटोग्राफ लिए व वीडियोग्राफी भी की गई। पीड़ित का मैडिकल भी करवाया गया। इस संदर्भ में पुलिस स्टेशन बेस्ट शिमला में मामला दर्ज किया गया व मामले की छानबीन कर चार्जशीट एलडी सेशन जज शिमला की अदालत में दाखिल की। इस मामले में 24 गवाह पेश किए गए। अदालत ने आरोपी को दोषी ठहराते हुए यह फैसला सुनाया। मामले की पैरवी पब्लिक परोसीक्यूटर शिमला रणदीप सिंह परमार ने की।
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