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PM की 7 बातों के पालन की अपील के बाद Congress ने सरकार से अपनी 7 बातों पर मांगा जवाब
नई दिल्ली। देश में चल रहे कोरोना वायरस (Coronavirus) संकट के बीच पीएम नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने मंगलवार को संबोधन में 14 अप्रैल को समाप्त होने वाला 21 दिन का लॉकडाउन (Lockdown) 3 मई तक बढ़ाने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्रियों और जनता के सुझावों के बाद यह फैसला किया गया। बकौल मोदी, नए इलाकों में कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए 20 अप्रैल तक लॉकडाउन में सख्ती होगी। पीएम ने अपने इस संबोधन में देश के लोगों से 7 बातों का पालन करने को कहा है। उन्होंने लोगों से लॉकडाउन के बीच बुज़ुर्गों का खयाल रखने, घर में बने मास्क पहनने, इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए आयुष मंत्रालय के निर्देशों का पालन करने और जितनी संभव हो गरीबों की मदद करने को कहा है।
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वहीं पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा लॉकडाउन में 7 बातों के पालन की अपील करने के बाद कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला (Randeep Surjewala) ने कहा है कि देश ने 21 दिन का लॉक्डाउन माना। देश 20 दिन का लॉक्डाउन भी मानेगा। पर नेतृत्व के मायने केवल देशवासियों को जुम्मेवारी का अहसास दिलाना नही, बल्कि सरकार और शासक की जनता के प्रति जबाबदेही व जुम्मेवारी का निर्वहन है। बातें बहुत हुई पर कोरोना से लड़ने का रोडमैप क्या है?
सुरजेवाला द्वारा उठाए गए 7 सवाल
1। कोरोना की रोकथाम का एक मात्र रास्ता है-टेस्टिंग। 1 फ़रवरी से 13 अप्रैल, 2020 तक, यानी 72 दिनों में देश में केवल 2,17,554 कोरोना टेस्ट हुए। औसत 3,021 टेस्ट प्रतिदिन है। टेस्ट कई गुना बढ़ाने की क्या योजना है?
2। कोरोना के ख़िलाफ़ अग्रिम पंक्ति के योद्धा डॉक्टर-नर्स-स्वास्थ्यकर्मी-पुलिसकर्मी-सफ़ाईकर्मी हैं। इनके लिए अब तक एन-95 मास्क और पीपीई की ज़बरदस्त कमी है। इस मसले पर आपकी चुप्पी क्यों? यह सुरक्षाकवच कब उपलब्ध होगा?
3। पलायन कर चुके करोड़ों मज़दूर आज रोज़गार-रोटी के संकट से जूझ रहे हैं। इस सवेंदनशील व मानवीय मसले पर आपकी ऐक्शन प्लान क्या है?
4। लाखों एकड़ गेहूँ-रबी की फसलें कटाई के लिए तैयार हैं, लेकिन इंतज़ाम क्यों नही? समय पर कटाई और MSP पर फसल ख़रीद सुनिश्चित करने को लेकर आप चुप क्यों हैं? देश का अन्नदाता और खेती आपकी प्राथमिकता सूची से बाहर क्यों है?
5। कोरोना से पहले ही देश का युवा अभूतपूर्व बेरोज़गारी से जूझ रहा था। अब बेरोज़गारी-छँटनी-नौकरियाँ जाने की दर विकराल रूप ले रही है। आपकी ‘कोविड-19 एकनॉमिक रिकवरी टास्क फ़ोर्स’ कहाँ ग़ायब है? करोड़ों युवा कहाँ जाएँ?
6। देश की अर्थव्यवस्था की रीढ़- दुकानदार, लघु और मध्यम उद्योग- आज चौपट होने की कगार पर हैं। खेती के बाद सबसे अधिक रोज़गार इन्ही क्षेत्रों में है। इन्हें वापस पटरी पर लाने व आर्थिक मदद के बारे आपकी क्या ऐक्शन प्लान है?
7। पूरी दुनिया ने कोरोना से पैदा हुए आर्थिक संकट से पार पाने हेतु करोड़ों-अरबों रुपैये के आर्थिक पैकेज लागू किए। इस सूची में आपकी सरकार आख़री पायेदान पर क्यों खड़ी है? नियत और नीति की ये कमी देश को भारी पड़ रही है।