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पांवटा साहिब। हिमाचल के सिरमौर (Sirmaur) जिला में करीब छह माह से लापता नाबालिग बेटी (Missing Minor Daughter) का अब तक सुराग ना लग पाने से आक्रोशित परिजन एसडीएम कार्यालय (SDM office) के समक्ष धरने (Dharna) पर बैठ गए हैं। इसको लेकर पहले ही परिजनों ने प्रशासन को चेतावनी दे दी थी। धरने पर बैठे परिजनों ने एक बैनर लगाया हुआ है, जिसमें लिखा गया कि “गुड़िया हम शर्मिंदा हैं, तेरे कातिल जिंदा हैं”। लेकिन, हैरानी इस बात की है कि परिजन यह कैसे मान बैठे हैं कि उनकी बेटी अब जिंदा नहीं। जबकि, अबतक ऐसी कोई सूचना भी नहीं मिल पाई है और ना ही उसकी कोई डेड बॉडी बरामद हुई।
बता दें कि परिजन माजरा पुलिस, प्रशासन व स्थानीय नेताओं की कार्यशैली से संतुष्ट नहीं हैं। परिजनों का आरोप है कि मामले में राजनेताओं का हस्तक्षेप अप्रत्यक्ष रूप से शामिल हैं, जिस कारण प्रशासन भी उनके दवाब में मौन हैं। गौरतलब हो कि बीते साल 9 अगस्त को बातापुल से कथित किशोरी के छलांग लगाने की बात सामने आई थी, लेकिन कोई पुख्ता सबूत नहीं मिले। परिजनों ने क्षेत्र के एक युवक पर नाबालिग युवती को भगाने का आरोप भी लगाया। इसको लेकर माजरा थाना में गुमशुदगी की रिपोर्ट (Missing Report) दर्ज करवाई थी। परिजनों का कहना है कि स्थानीय प्रशासन व पुलिस महकमा इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है। उधर, डीएसपी वीर बहादुर ने बताया कि इस मामले में पुलिस जांच कर रही है ।
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