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अधिकारी ने जारी किया अनोखा फरमानः वैक्सीन नहीं लगाई तो भूल जाओ सैलरी
Last Updated on May 27, 2021 by
कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर को हराने के लिए सरकार वैक्सीनेशन ( Vaccination) पर जोर दे रही है। दुखद है कि हमारे देश में कई स्थानों पर लोग लापरवाही बरत रहे हैं और टीका लगवाने के लिए खुद आगे नहीं आ रहे हैं। इस समय दुनिया का सबसे बड़ा टीकाकरण अभियान ( Vaccination campaign) देश में चला हुआ है। स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़े कहते हैं कि भारत 20 करोड़ से अधिक टीकों की खुराक लगाने वाला दूसरा देश बन चुका है। लेकिन अभी भी लोग टीका लगवाने के लिए पहल नहीं कर रहे हैं। हाल ये है कि कहीं पर तो चेतावनी देकर टीका लगवाना पड़ रहा है।
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हमारे देश के छतीसगढ़ के एक जिले में आदिवासी कल्याण विभाग ( Tribal welfare department) को अपने स्टाफ का टीकाकरण करवाने के लिए चेतावनी देनी पड़ी। राज्य के गौरेला-पेंड्रा-मरवाही जिले में सहायक आयुक्त के एस मसराम ने अपने स्टाफ से कहा कि वे जल्द वैक्सीन लगवा लें। अगर वो वैक्सीन नहीं लगाते हैं तो उनका अगले महीने का वेतन ( Salary) रोक दिया जाएगा। इसके लिए उन्होंने आदेश जारी किए जिसमें कहा गया है कि आदिवासी कल्याण विभाग द्वारा संचालित कार्यालयों, आश्रमों (आवासीय विद्यालयों) और छात्रावासों में कार्यरत अधिकारियों और कर्मचारियों को टीका लगवाने और अपने कार्यालय में टीकाकरण कार्ड जमा करें। सीधे तौर पर कहें तो अगर वे टीकाकरण कार्ड नहीं दिखाते तो उनकी अगले माह की तंख्वाह रोक दी जाएगी।
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इसी बीच आदेशों की एक कॉपी सोशल मीडिया पर वायरल हो गई। जहां कुछ लोगों ने इसे तानाशाही बताकर नाराजगी भी जाहिर की। वहीं कई लोगों का यह भी तर्क था कि स्लॉट ना मिलने के कारण वे वैक्सीन कैसे ले सकते हैं। उधर मसराम ने भी अपने आदेशों के बारे में स्पष्ट किया कि उनका उद्देश्य कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों का शत-प्रतिशत टीकाकरण सुनिश्चित करना है। उन्होंने दावा किया कि आदेश जारी होने के बाद विभाग के 95 प्रतिशत स्टाफ सदस्यों ने वैक्सीन शॉट्स लिए। हालांकि हम कोई वेतन नहीं रोकेंगे पर इरादा कर्मचारियों को टीका लगवाने का है।