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कांगड़ा। ब्रेन हेमरेज के चलते मौत का शिकार बने सीआरपीएफ जवान मुनीश कुमार का अंतिम संस्कार समेला के कशवाड़ा श्मशानघाट में पूरे सम्मान के साथ हुआ। प्रदेश पुलिस (Police) की टुकड़ी ने जवान मुनीश कुमार को सलामी दी। प्रशासन की ओर से एसडीएम (SDM) जतिन लाल व डीएसपी (DSP) विनोद धीमान सहित अन्य पुलिस अधिकारी मौजूद थे। इस अवसर पर काफी संख्या में लोग मौजूद थे। मुनीश कुमार के छोटे भाई प्रदीप कुमार ने मुखाग्नि दी। इससे पहले जवान की पार्थिव देह गांव पहुंचने पर हर आंख नम गई।
बता दें कि ब्रेन हेमरेज से मौत के मुंह में गए केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के जवान मुनीश कुमार की एकाएक तबीयत बिगड़ी और रियासी अस्पताल पहुंचने से पहले ही मुनीश कुमार की मौत हो गई। मुनीश कुमार को समय रहते सही प्राथमिक उपचार मिल गया होता तो मुनीश कुमार आज हमारे बीच ही होता। मुनीश कुमार जम्मू-कश्मीर (J&K) के जिला रियासी के शिव खोड़ी मंदिर की पोस्ट पर तैनात था और मंगलवार को अपनी पोस्ट पर ड्यूटी कर था। ड्यूटी के दौरान ही सुबह से ही मुनीश कुमार सिर दर्द व तबीयत खराब होने की बात अपने साथी से करता रहा, जिसको लेकर उसके साथियों ने जांच करवाने के लिए भी कहा तो मुनीश कुमार ने ड्यूटी खत्म होते ही जांच कराने की बात कही।
इसी बीच जब मुनीश कुमार की ज्यादा तबीयत बिगड़ी तो मुनीश कुमार पोस्ट के साथ ही बनी फार्मेसी भी ले गए और वहां पर दवाई लेने के बाद भी मुनीश कुमार की सेहत ठीक नहीं हुई और इस दौर मुनीश कुमार को उल्टियां भी शुरू हो गईं। हालत गंभीर होता देख मुनीश कुमार के साथी पोस्ट से घोड़े पर बिठा कर उसे सड़क तक लेकर आए और वहां से 60 किलोमीटर दूर रियासी जिला अस्पताल पहुंचाया परंतु तब तक बहुत देर हो चुकी थी। मुनीश कुमार को समय रहते अस्पताल पहुंचा दिया गया होता तो मुनीश कुमार की जान बच सकती थी। हालांकि पहाड़ी रास्ता व समय लगने के कारण मुनीश कुमार को अस्पताल की सुविधा नहीं मिल पाई।
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