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नालागढ़। किन्नौर (Kinnaur) को नामज्ञा डोगरी में हिमस्खलन (Avalanche) में दबे पांच जवानों में से एक राजेश ऋषि का तिरंगे में लिपटा शव उनके पैतृक गांव पहुंच गया है। 25 वर्षीय राजेश ऋषि (Rajesh Rishi) पुत्र रणजीत सिंह निवासी जोंघो जगतपुर नालागढ़, सोलन आज कुछ देर बाद शहीद का अंतिम संस्कार होना है। राजेश ऋषि पुत्र रणजीत सिंह की दो महीने पहले ही शादी हुई थी। शहीद का शव शुक्रवार को 11 दिन बाद बरामद किया गया था। उनके शव को हवाई मार्ग से नालागढ़ पहुंचाया जाना था, लेकिन मौसम खराब होने के कारण शव सड़क मार्ग से जोंघो जगतपुर पहुंचाया।
भारी बर्फ़बारी के कारण रेस्क्यू ऑपरेशन में दिक्कत आ रही है एवं बाक़ी जवानों की तलाश भी जारी है ।
हमारी सरकार दुःख की इस घड़ी में शहीद के परिवार के साथ है।@CMOFFICEHP @dprhp @rajnathsingh @BJP4Himachal https://t.co/JhCTwm7gUn
— Jairam Thakur (@jairamthakurbjp) March 3, 2019
सीएम जयराम ठाकुर (CM Jai Ram Thakur) ने शहीद राजेश को अपनी श्रद्धांजलि अर्पित की है। उन्होंने अपने ट्विटर संदेश में कहा है कि भगवान दिवंगत आत्मा को शांति दें तथा शोकग्रस्त परिवार को इस असहनीय दुःख को सहने की शक्ति प्रदान करें। सीएम ने कहा कि भारी बर्फबारी के कारण रेस्क्यू ऑपरेशन (Rescue operation) में दिक्कत आ रही है एवं बाकी जवानों की तलाश जारी है। सरकार दुःख की इस घड़ी में शहीद के परिवार के साथ है।
बता दें कि शिपकिला बॉर्डर से लगते नामज्ञा डोगरी (Namgia Dogri) के पास 20 फरवरी को ग्लेशियर खिसकने से नियमित गश्त पर निकले जम्मू-कश्मीर राइफल्स के 16 सैनिकों में से छह बर्फ में दब गए थे। हादसे में दबे हवलदार राकेश कुमार (41) को बाहर निकाल लिया गया पर वह शहीद हो गए। उसके बाद से लगातार सर्च ऑपरेशन चल रहा है। 11वें दिन शनिवार को शहीद जवान राजेश ऋषि का शव बरामद हुआ था। अभी भी चार जवानों का पता नहीं लग पाया है और उनकी तलाश के लिए सर्च ऑपरेशन अभी भी जारी है।
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