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नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश की वाराणसी लोकसभा सीट (Varanasi Lok Sabha seat) पर गठबंधन के प्रत्याशी (Coalition candidate) को लेकर अभी तक संशय बरकरार है। गौरतलब है कि नामांकन के आखिरी दिन सपा-बसपा गठबंधन ने अपना प्रत्याशी बदल कर BSF के बर्खास्त जवान तेज बहादुर यादव (Tej Bahadur Yadav) को टिकट थमा दिया था। जिसके बाद अब नामांकन दाखिल करने में एक गलती होने पर तेज बहादुर का नामांकन निरस्त किया जा सकता है। तेज बहादुर की यही गलती शालिनी यादव (Shalini yadav) के लिए वरदान भी बन सकती है।
बता दें कि तेज बहादुर ने बतौर निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में कबूल किया था कि उन्हें भ्रष्टाचार के कारण नौकरी से बर्खास्त किया गया था। लेकिन सोमवार को सपा प्रत्याशी के रूप में नामांकन करते वक्त तेजबहादुर इस सच को छिपा गए। इस मसले पर जिला निर्वाचन कार्यालय ने तेज बहादुर को नोटिस जारी करते हुए 1 मई को सुबह 11 बजे तक जवाब देने का समय दिया है। तेज बहादुर को बीएसएफ की NOC लाने को कहा गया है। चुनाव आयोग ने साफ कर दिया है कि अगर तेज बहादुर यादव प्रमाण नहीं देते हैं तो उनका नामांकन खारिज कर दिया जाएगा। और इसी के साथ शालिनी यादव के लिए संभावनाएं बढ़ जाएंगी।
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