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धर्मशाला। कांगड़ा-चंबा संसदीय क्षेत्र से पार्टी प्रत्याशी पवन काजल के प्रचार को उतरे पूर्व सीएम वीरभद्र सिंह (Former CM Virbhadra Singh) विपक्ष पर हमलावर होने के बजाए अपनी ही पार्टी के नेताओं पर हमलावर रहे। इसके साथ ही उन्होंने कांग्रेस की प्रचार समिति के अध्यक्ष होने के नाते स्पष्ट किया है कि पार्टी के पास संसाधनों की कमी है। धर्मशाला में पत्रकारों से बातचीत करते हुए वीरभद्र सिंह के निशाने पर इसके बाद पंडित सुखराम (Pandit Sukhram) रहे।
वीरभद्र का कहना है कि एक वक्त में पंडित सुखराम ने अपनी अलग पार्टी हिविकां बनाई और कांग्रेस के भी दो विधायकों को अपने साथ ले गए। जिससे कांग्रेस पार्टी को नुकसान हुआ। इसी तरह आदतन प्रदेश कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष सुखविंदर सिंह सुक्खू (Sukhwinder Singh Sukhu) को निशाने पर रखने वाले वीरभद्र सिंह आज कैसे भूल सकते थे, उन्होंने इस मर्तबा सुक्खू पर अटैक कुछ इस तरह से शुरू किया कि घर में भी सफाई करनी पड़ती है। यानी बात का संदर्भ ये था कि सुक्खू को लोकसभा चुनाव के लिए वीरभद्र की अध्यक्षता में बनाई गई समिति के सदस्य पद से क्यों हटाया गया।
वीरभद्र ने उसको इस तरह से स्पष्ट किया कि हम घर की भी तो सफाई करते ही हैं, ऐसे में सुक्खू को समिति से हटाया गया होगा। इसके बाद उनसे जब राज्यसभा सदस्य आनंद शर्मा (Anand Sharma) पर विपक्ष के आरोपों पर पूछा गया तो उन्होंने कहा कि आनंद शर्मा रास का रूट पकड़कर चल रहे हैं, जो रास का सदस्य होता है वह पंचायत या विधायक का चुनाव नहीं लड़ता है। विपक्ष बार-बार आनंद को लेकर ये कहता आया है कि उन्हें चुनाव लड़वाकर देख लो समझ आ जाएगा। उसी संदर्भ में वीरभद्र सिंह ने विपक्ष को जवाब दिया।
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