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Corona इन India: मरीजों के ठीक होने की दर 50 फीसदी के करीब; दुनिया में सबसे कम मृत्यु दर
नई दिल्ली। देश में जारी कोरोना वायरस (Coronavirus) के कहर के बीच भारत में कोरोना वायरस के मरीजों के ठीक होने की दर (Recovery Rate) 48.07 फीसदी पहुंच गई है। स्वास्थ्य मंत्रालय का कहना है कि इससे घबराने की जरूरत नहीं है बल्कि अपनी सुरक्षा के उपाय करने चाहिए। स्वास्थ्य मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में इसकी जानकारी देते हुए बताया कि देश में टेस्टिंग की सुविधा बढ़ाई गई है। देश में हर दिन 1 लाख 20 से ज्यादा टेस्टिंग हो रही है। लव अग्रवाल ने कहा कि कोरोना संक्रमण के मामले में देश भले ही सातवें नंबर पर है लेकिन यह विश्लेषण सही नहीं है क्योंकि अन्य देशों की आबादी की तुलना में भारत की आबादी बहुत ज्यादा है।
पिछले 24 घंटे में कोविड-19 के 3,708 रोगी ठीक हुए हैं
It is wrong comparison to look at total no. of #COVID19 cases only and mention that India has 7th highest cases, our population too should be considered
14 countries with total similar population as India have reported 22.5 times more cases & 55.2 times deaths
– @MoHFW_INDIA pic.twitter.com/DRGnsmXmvw
— PIB India (@PIB_India) June 2, 2020
उन्होंने यह भी कहा कि भारत में रिकवरी रेट लगातार सुधर रहा है और दुनियाभर के देशों में सबसे कम मृत्यु दर (Death Rate) है। लव अग्रवाल ने कहा कि देश में कोरोना वायरस संक्रमण से मृत्यु दर 2.82 फीसदी है, जो कि दुनिया में सबसे कम है। पिछले 24 घंटे में कोविड-19 के 3,708 रोगी ठीक हुए हैं। उन्होंने बताया कि आज के डेटा के मुताबिक 14 देश जो हमारे देश की आबादी से मिलते जुलते हैं वहां लगभग 22 प्रतिशत ज्यादा केस सामने आए हैं और 55 प्रतिशत ज्यादा मौतें हुई हैं। गौरतलब है कि देश में कोरोना ने रफ्तार पकड़ ली है। हालात ये है कि अब 7-8 हजार लोग हर रोज संक्रमित हो रहे हैं। अब तक 1 लाख 98 हजार 706 लोग कोरोना वायरस से संक्रमित पाए जा चुके हैं। जबकि 5598 लोगों की मौत हुई है।
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ज्यादातर मौतें अन्य बीमारियों के साथ होने की वजह से हो रही
प्रेस कॉन्फ्रेंस में आईसीएमआर ने कहा कि हम अन्य स्वतंत्र प्लैटफॉर्म्स का इस्तेमाल भी कोरोना टेस्टिंग बढ़ाने के लिए कर रहे हैं। ट्रूनैट स्क्रीनिंग ऐंड कन्फर्मेट्री टेस्ट को मान्यता दे दी गई है। इससे टेस्टिंग का दायरा बढ़ा। देश के 681 लैब कोरोना टेस्ट के लिए मान्यता प्राप्त हैं। इनमें से 476 सरकारी और 205 प्राइवेट हैं। हर दिन 1 लाख 20 टेस्ट किए जा रहे हैं। अग्रवाल ने कहा, ‘ज्यादातर मौतें अन्य बीमारियों के साथ होने और ज्यादा उम्र की वजह से हो रही हैं। इन दोनों अंशों को देखें तो बुजुर्ग लोग ज्यादा रिस्क में हैं और जिनको डाइबिटीज, रेस्पेरेटरी डिजीज हैं, वे हाई रिस्क में हैं। उनका सहयोग बहुत जरूरी है। जरूरी है कि वे सोशल डिस्टैंस बनाकर रखें। लोग अपना चेकअप करता रहें और इम्युनिटी बूस्टिंग पर भी काम करें।’