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पेयजल लाइनों को बहाल करने वाले कर्मचारियों का सरकार करेगी सम्मान
शिमला। हिमाचल प्रदेश में हाल की प्राकृतिक आपदा से जल शक्ति विभाग (Jal Shakti Department) को 1411 करोड़ रुपए का नुकसान हुआ है। प्रदेश के उप मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री (Mukesh Agnihotri) ने कहा कि मौसम की प्रतिकूलता के बावजूद जान जोखिम में डालकर फील्ड में काम कर रहे जल शक्ति विभाग के कर्मचारियों का सरकार सम्मान करेगी। रिकॉर्ड समय में अभी तक 4623 परियोजनाएं रिस्टोर की गई हैं। यह कर्मचारियों के जनूनी एवं फौलादी हौसलों का ही कमाल है।
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मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि जल प्रलय में योजनाओं को बहाल करना हमारी प्राथमिकता है। विभाग की 5203 योजनाएं पेयजल की प्रभावित हुई हैं। 1237 सिंचाई की योजनाएं प्रभावित हुई हैं। 55 सीवरेज की योजनाएं प्रभावित हुई हैं। 101 बाढ़ नियंत्रण के कार्यों को नुकसान हुआ है।
माकपा ने जलापूर्ति की समस्या पर जताई चिंता
मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी की शिमला जिला कमेटी ने राजधानी और इसके साथ लगते क्षेत्रों में पेयजल की आपूर्ति नियमित न होने पर गम्भीर चिंता व्यक्त की है। पार्टी के बयान में कहा गया है कि शिमला (Shimla) के कई इलाको मे अभी भी 4 से 6 दिन के बाद बहुत कम मात्रा में पानी उपलब्ध हो पा रहा है। इससे विशेष रूप से दिहाड़ी मजदूरों और सुबह स्कूल जाने वाले बच्चों, कामकाजी परिवारों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। पार्टी का कहना है कि अगर पानी की आपूर्ति एक दिन छोड़कर की जाए तो इससे सभी शहरवासियों को समय सारिणी के अनुसार अधिक समय तक पर्याप्त मात्रा में पानी की आपूर्ति की जा सकती है।