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शिमला। विश्व की सबसे बड़ी उर्वरक सहकारी संस्थान इंडियन फारमर्स फर्टिलाइज़र कोऑपरेटिव लिमिटेड (इफको )ने अपने 52वें स्थापना दिवस के अवसर पर अपनी गुजरात की कलोल इकाई में एक कार्यक्रम में ऑन – फील्ड परीक्षण के लिए नैनो नाइट्रोजन,नैनो जिंक, नैनो कॉपर पेश करके अपनी “नैनो टेक्नोलॉजी ” पर आधारित उत्पाद रेंज की शुरुआत करने की घोषणा की। कार्यक्रम के मुख्यातिथि केन्द्रीय रसायन एवं उर्वरक मंत्री सदानंद गौंड़ा, केन्द्रीय कृषि और किसान कल्याण एवं ग्रामीण विकास मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर, इफको के अध्यक्ष बीएस नकई, उपाध्यक्ष दलीप संघानी, प्रबंध निदेशक डॉ यूएस अवस्थी उपस्थित रहे ।
केवल 57 सहकारी समितियों के साथ इफको की 3 नवंबर,1967 को स्थापना हुई थी। आज यह 35,000 से भी अधिक सहकारी समितियों का एक मजबूत संगठन है, जिसने सामान्य बीमा से लेकर खाद्य प्रसंस्करण अन्य विविध व्यवासायों में ख्याति पाई है। आज इफको ने भारत के पहले नैनो प्रौद्यौगिकी आधारित उत्पादों को पेश करके इतिहास रच दिया। कलोल सहित इफको द्वारा 11,000 स्थानों पर भी इफको के क्षेत्र अधिकारियों द्वारा किसान सभाओं का आयोजन किया गया ,जिसमें हिमाचल प्रदेश के विभिन्न जिलों में क्षेत्र अधिकारियों द्वारा प्रगतिशील किसानों के लिए किसान सभाओं का आयोजन किया गया।
जिला कांगड़ा के कोटक्वाला में लगभग 100 प्रगतिशील किसानों के लिए किसान सभा का आयोजन किया गया ,जिसका सम्बोधन राज्य विपणन प्रबंधक गुरमीत सिंह मनकोटिया ने किया। उन्होंने मुख्य रुप से किसानों को इफको नैनो के उपयोग एवं लाभ और कैसे इन उत्पादों के इस्तेमाल से किसान अपनी लागत को कम कर सकते हैं के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई। उन्होंने इफको के जल100 फीसदी विलय उर्वरक जैसे 18:18:18,17:44:0,0:0:50,13:0:45,एवं 19:19:19,अथवा इफको के जैविक उर्वरकों के बारे में भी विस्तार से जानकारी प्रदान की गई। राज्य विपणन प्रबंधक की ओर से किसानों को उर्वरकों का सही इस्तेमाल करने पर भी जोर दिया गया। किसानों को खेत प्रदर्शन के लिए नैनो नाइट्रोजन, कॉपर एवं जिंक उर्वरकों के नमूने भी वितरित किए गए।
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