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नौकरी पेशा लोगों के लिए बड़ी खबर : जमा कराएं ये Document नहीं तो कट जाएगी Salary
Last Updated on January 7, 2020 by
नई दिल्ली। नौकरी (Job) पेशा वाले लोगों के लिए यह खबर काम की है क्योंकि अगर आपने कुछ जरूरी डाक्यूमेंट्स जमा नहीं कराए तो आपकी सैलरी भी कट सकती है। दरअसल, जिन कर्मचारियों की सैलरी इनकम टैक्स (Income Tax) के दायरे में आती है उन्हें अपने इन्वेस्टमेंट प्रूफ जमा कराने होंगे। कंपनियां अपने कर्मचारियों से दिसंबर के अंत से लेकर के मार्च तक इन सभी डॉक्यूमेंट (Documents) को जमा कराती है। यहां जानें इन डाक्यूमेंट्स को जमा कराने की जरूरत क्यों होती है।
मार्च से पहले कंपनी आपसे कर्मचारियों से इंवेस्टमेंट प्रूफ की कॉपी मांगता है, ताकि वह आपके द्वारा टैक्स बचाने के लिए किए गए इंवेस्टमेंट की जांच कर ले। आपकी कंपनी आपको बाद में टैक्स ज्यादा या कम देने के झंझट से बचाने के लिए ऐसा करती है।
ये डाक्यूमेंट्स कराने होंगे जमा : अगर आपने लाइफ या हेल्थ पॉलिसी में पैसा लगाया है तो उसके प्रीमियम की रसीद देनी होगी। हेल्थ पॉलिसी की अवधि में अगर आप या फिर आपके परिवार के किसी सदस्य ने अस्पताल में इलाज कराया है तो उसकी रसीद भी देनी होगी। इसके अलावा अगर आपने कोई हेल्थ चेकअप करवाया है तो उसका बिल भी देना होगा। अगर आपने नेशनल पेंशन सिस्टम, नेशनल सेविंग स्कीम, म्युचुअल फंड, पीपीएफ में पैसा लगाया है तो इनकम टैक्स में सेविंग के लिए आप इसका प्रूफ भी अपने ऑफिस में जमा करवाना होगा। इसके लिए आप इनका अकाउंट स्टेटमेंट अथवा पासबुक की फोटोकॉपी को जमा कर सकते हैं।
अगर आप किराए के मकान में रहते हैं तो भी आप टैक्स में छूट पा सकते हैं। इसके लिए आपको अपनी कंपनी में किराये की रसीद जमा करनी होंगी. मेट्रो और नॉन मेट्रो शहरों में किराये में काफी अंतर होता है। अगर आप मेट्रो सिटी में रहते हैं और आठ हजार रुपए से ज्यादा मकान का किराया अदा करते हैं तो आप एचआरए भरकर टैक्स सेविंग कर सकते हैं।
अगर आपने इस साल किसी भी तरह की प्रॉपर्टी में निवेश किया है और इसके लिए बैंक या एनबीएफसी कंपनी से लोन लिया है तो फिर टैक्स सेविंग के लिए लोन रिपेमेंट का प्रूफ देना होगा। अगर इस साल में घर का पजेशन मिल गया है तो आप इस पर भी टैक्स में छूट ले सकेंगे। इसके लिए आपने रजिस्ट्री के वक्त जो स्टांप ड्यूटी चुकाई है, उसका प्रूफ अपनी कंपनी को देना होगा।
बच्चों की पढ़ाई के लिए एजूकेशन लोन के रिपेमेंट करने पर भी आपको टैक्स छूट मिलती है। इस तरह की छूट लेने के लिए आपको अपने बैंक से रिपेमेंट की रसीद लेनी होगी और ऑफिस में जमा कराना होगा। बच्चे की स्कूल फीस का पेमेंट किया है तो इसकी भी ओरिजनल रसीद जमा करनी होगी।