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MNREGA सहित अन्य मजदूरों को कामगार बोर्ड के खाते से मिलें पांच हजार
Last Updated on March 22, 2020 by Deepak
शिमला। कोरोना वायरस की महामारी के चलते मनरेगा (MNREGA) व अन्य निर्माण कार्यों में लगे मजदूरों को आर्थिक सहायता देने की मांग की गई है। गरीब, आईआरडीपी (IRDP) व बीपीएल BPL सहित आर्थिक आधार पर गरीब परिवारों को सरकार द्वारा अपने खाते से राहत दी जाए। यह मांग हिमाचल प्रदेश भारतीय मजदूर संघ व अराजपत्रित कर्मचारी संघ के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष रहे सुरेंद्र ठाकुर ने की है।
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उन्होंने अंतरराष्ट्रीय महामारी कोरोना से प्रदेश में कार्यरत गरीब मजदुरों पर इस महामारी का असर पड़ने का अंदेशा जताया है। सुरेंद्र ठाकुर ने प्रदेश सरकार से मांग की है कि इस विकट परिस्थिति में प्रदेश में मनरेगा एवं अन्य निर्माण कार्यों में निर्माण मजदूरों जिनका पंजीकरण निर्माण कामगार बोर्ड में पंजीकरण हुआ हो, उनको इस महामारी से निपटने के लिए अंतरिम राहत के रूप में 5000 रुपए राशि बोर्ड के खाते से मुहैया करवाई जाए।
ठाकुर ने कहा कि मजदूरों के साथ-साथ इस महामारी का आमजन पर भी काफी असर पड़ेगा। ठाकुर ने सरकार से मांग की है कि गरीब, आईआरडीपी (IRDP) व बीपीएल BPL सहित आर्थिक आधार पर गरीब परिवारों की सरकार द्वारा अपने खाते से राहत देने की मांग की है। सुरेंद्र ठाकुर ने सभी सरकारी और अर्धसरकारी कर्मचारियों के कार्य स्थलों एवं कार्यालयों में कोरोना महामारी से बचाव के लिए आवश्यक कीटों को उपलब्ध करवाने की मांग की है तथा इस महामारी के उपचार में स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी एवं कर्मचारी तथा अन्य क्षेत्रों के सफाई कर्मचारियों को विशेष स्तर का बीमा कवर सरकारी स्तर पर करवाने का भी आग्रह किया है। प्रदेश के उद्योगों तथा निजी प्रतिष्ठानों में अस्थाई ठेका मजदूरों को इस महामारी के दौरान प्रबंधक वर्ग को उनकी दिहाड़ी न काटने तथा इस दौरान उनकी छंटनी पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने की भी मांग की है।