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शिमला। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) की तरफ से पेंशन लेने वाले हिमाचल प्रदेश के करीब 7 हजार से अधिक पेंशनर जिंदा हैं या मुर्दा इस बात का पता नहीं चल पा रहा है। दरअसल इन 7 हजार से अधिक पेंशनर्स का डिजिटल लाइव सर्टिफिकेट ऑनलाइन अपडेट नहीं हो पाया है। जिसकी वजह से इन्हें पेंशन नहीं मिल पा रही है।
हालांकि इसके पीछे एक कारण यह भी हो सकता है कि उनकी मृत्यु हो गई हो और उनके परिजनों ने इसकी सूचना ईपीएफओ को नहीं दी है या फिर कुछ ऐसे भी पेंशनर हो सकते हैं, जो बहुत ज्यादा बुजुर्ग हो गए हैं और अपना लाइव सर्टिफिकेट अपडेट करने लोकमित्र केंद्र तक नहीं पहुंच सकते हैं।
बता दें कि प्रदेश में कुल 35 हजार पेंशनर हैं, जो ईपीएफओ के माध्यम से पेंशन लेते हैं। इन लोगों को पेंशन पाने के लिए अपने नजदीकी लोकमित्र केंद्र से फिंगर प्रिंट और आधार कार्ड के जरिए अपने जीवित होने का प्रमाण देना पड़ता है। जिसके बाद उन्हें पेंशन दी जाती है।
इस बारे में बताते हुए ईपीएफओ के क्षेत्रीय आयुक्त सुदर्शन कुमार ने बताया कि ऐसे पेंशनरों के परिजन इसकी जानकारी ईपीएफओ में दें, ताकि वे अपने विभाग से किसी को भेजकर पेंशनरों के घर पर उनके फिंगर प्रिंट ले सकें। बहरहाल, यह चिंता का विषय जरूर है कि जिस पेंशन पर बुढ़ापा कटना था, वो उन तक नहीं पहुंच पा रही है।
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