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नाहन। हिमाचल के जिला सिरमौर के ऐतिहासिक खेल ठोडा नृत्य (Sirmauri Thoda Dance) के इतिहास, तकनीक व वर्तमान स्थिति को दर्शाती लघु फिल्म पुर्नोदय को अंतरराष्ट्रीय लघु फिल्म उत्सव (International short film festival) में श्रेष्ठ पटकथा के पुरस्कार से नवाजा जाएगा। इस लघु फिल्म को जाने-माने शिक्षाविद और रंगमंच कलाकार व राज्य शिक्षक पुरस्कार से सम्मानित संजीव अत्री द्वारा तैयार किया गया है। दरअसल मोगीनंद स्कूल में तैनात शिक्षक संजीव अत्री की इस फिल्म ने ना केवल जिला सिरमौर अपितु पूरे प्रदेश को गौरवान्वित किया है। संजीव अत्री द्वारा निर्देशित पुर्नोदय को कोलकाता में 11 से 24 दिसंबर तक आयोजित अंतरराष्ट्रीय लघु फिल्म उत्सव-2020 (International Short Film Festival-2020) में दिखाया गया। अब फिल्म के चयन के बाद इसे श्रेष्ठ पटकथा का पुरस्कार मिलने जा रहा है। 25 मिनट 40 सेकेंड की इस फिल्म में ऐतिहासिक खेल ठोडा नृत्य के इतिहास, तकनीक व वर्तमान की स्थिति को दर्शाया गया है। फिल्म पुर्नोदय की पटकथा लेखन व निर्देशन स्वयं डॉ संजीव अत्री द्वारा किया गया है।
सांस्कृतिक स्त्रोत एवं प्रशिक्षण केंद्र द्वारा इस फिल्म का निर्माण बच्चों के लिए करवाया गया था। उधरए अंतरराष्ट्रीय लघु फिल्म उत्सव में श्रेष्ठ पटकथा के पुरस्कार के लिए लघु फिल्म पुर्नोदय के चयन से शिक्षक संजीव अत्री (Teacher sanjeev atri) बेहद खुश है। उन्होंने कहा कि इस फिल्म के प्रदर्शन से जिला के इस नृत्य को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी एक पहचान मिली है। संजीव अत्री ने बताया कि फिल्म निर्माण के दौरान उन्होंने पाया कि ठोडा नृत्य लुप्त होने की तरफ जा रहा है। ऐसे में इस और ध्यान देने की विशेष आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि यह एक पुरातन कला है, जो आज अपना असली स्वरूप खोता जा रहा है। उन्होंने कहा कि इस फिल्म में सुझाव दिया गया है कि कैसे युवा पीढ़ी को इस पारंपरिक नृत्य से जोड़ा जा सकता है। अंतरराष्ट्रीय लघु फिल्म उत्सव में 300 भारतीय व 40 विदेशी फिल्मों में से 160 फिल्मों का उत्सव के लिए नामाकंन हुआ था। संजीव अत्री की फिल्म पुर्नोदय को भारतीय फिल्मों की डाक्यूमेंट्री फिल्मों की श्रेणी सर्वश्रेष्ठ पठकथा के लिए पुरस्कार हेतू चयनित किया गया है।
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