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रिटेल महंगाई दर 65 महीनों में सर्वाधिक होने के बावजूद RBI ने नहीं बदली ब्याज दरें
Last Updated on February 6, 2020 by
नई दिल्ली। बजट के बाद पहले पॉलिसी रिव्यू में रिज़र्व बैंक (RBI) ने ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया है। दिसंबर 2019 में रिटेल महंगाई दर 65 महीनों के उच्चतम स्तर 7.35% होने के बाद भी MPC के सभी 6 सदस्यों ने ब्याज दरें नहीं बदलने के पक्ष में मत दिया है। आरबीआई ने रेपो रेट को 5.15 फीसदी पर बरकरार रखा था। वहीं, रिवर्स रेपो रेट 4.90 फीसदी पर बरकरार है।
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गौरतलब है कि पिछले साल लगातर 5 समीक्षाओं में दरों को कुल 135 बेसिस पॉइंट घटाने के बाद दिसंबर में उन्हें स्थिर रखा गया था। केंद्रीय बैंक ने कहा, जब तक संभव है वह नीतिगत रुख को उदार बनाए रखेगा। बैंक का अनुमान है कि वित्त वर्ष 2020-21 में जीडीपी ग्रोथ 6 पर्सेंट रहेगी। इसके साथ ही केंद्रीय बैंक ने महंगाई दर के अनुमान को चालू वित्त वर्ष की चौथी तिमाही के लिए बढ़ाकर 6.5 फीसद कर दिया है।
रिज़र्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास (Reserve Bank Governor Shaktikanta Das) ने कहा है कि आरबीआई के पास आर्थिक वृद्धि दर को बढ़ाने के लिए ब्याज दरों में कमी करने के अलावा भी कई अन्य उपाय हैं। मौद्रिक समीक्षा बैठक के बाद दास ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में पत्रकारों से कहा, ‘आरबीआई के पास आर्थिक वृद्धि में गिरावट को रोकने के लिए कई सारे उपाय हैं।’ रिज़र्व बैंक ने यह भी कहा कि आगे जरूरत पड़ने पर रेपो रेट में गिरावट की जा सकती है।
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