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किन्नौर में बर्फबारी ने फिर बिगाड़े हालात, नारकंडा में सड़कों पर लगा लंबा जाम
Last Updated on January 13, 2020 by Sintu Kumar
रिकांगपिओ/कुमारसैन। किन्नौर जिला के अधिकांश क्षेत्र में दो दिनों से जारी बर्फबारी (Snowfall) से एक बार फिर से जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया है। जिला के कई संपर्क मार्ग पर से अभी पहली बर्फ हटाने का काम शुरू भी नही हुआ था कि दो दिनों से फिर इन मार्गों पर बर्फ की मोटी परत जमनी शुरू हो गई है। करीब एक सप्ताह बाद अप्पर किन्नौर (Kinnaur) के लिए बहाल हुई विद्युत आपूर्ति एक बार फिर बाधित हो सकती है। इन क्षेत्रों में संचार व्यवस्था भी ठप है।
किन्नौर जिला के टिंकू नाला में बीते एक सप्ताह के भीतर चार बार ग्लेशियर आने से अवरुद्ध हुए एनएच-पांच को सीमा सड़क संगठन द्वारा बहाल किया गया। लेकिन जो बसें रिकांगपिओ आ रही थी, वे बर्फबारी में स्किड होने से रिकांगपिओ नहीं पहुंच पाई है। उपायुक्त गोपाल चंद ने कहा कि जिला में आपदा से निपटने के लिए दो क्यूआरटी टीम को तैनात किया है। प्रशासन की माने तो जिला में करीब 80 संपर्क सड़कें अभी भी पूरी तरह बंद है। अभी तक पूह उपमंडल की गंग्युल वेली, स्पिलो, कानम, लबरंग, नेसंग, असरंग सहित कई गांव के मार्ग अवरुद्ध है। जिले में 402 विद्युत ट्रांसफार्मरों में से 172 ट्रांसफार्मरों पर बिजली आपूर्ति बाधित है।
इसी तरह से नारकंडा में एक सप्ताह से बंद चल रहे एनएच पांच पर सोमवार को वाहनो की आवाजाही सुचारू होने से क्षेत्र के लोगों ने राहत की सांस ली है। हालांकि सोमवार को भी यातायात पूरी तरह से सामान्य नही हुआ है, लेकिन परिवहन निगम की कुछ बसें सहित निजी बसों और छोटे वाहनों की आवाजाही जारी रही। एनएच-पांच पर सोमवार को छोटे वाहनों की लंबी कतारें लगी रही। जिस कारण से नारकंडा से शिमला तक कई जगहों पर जाम भी लगे। वहीं प्रशासन ने वाहन चालकों से अपील की है कि बर्फ के ऊपर धैर्य के साथ और कम गति से वाहनों को चलाएं।