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आनी उद्यान विभाग में लाखों की मशीनें बनी शोपीस, दो साल बाद भी नहीं मिला Staff
Last Updated on February 8, 2020 by Deepak
कुल्लू। उपमंडल आनी में किसानों-बागवानों के लिए दो साल पहले बना उद्यान विभाग का प्लांट हेल्थ क्लीनिक (Plant Health Clinic) सफेद हाथी साबित हो रहा है। प्लांट हेल्थ क्लिनिक में लगी लाखों की मशीनें धूल फांक रही हैं। इन्हें चलाने वाला यहां कोई नहीं हैं। पिछली सरकार के विधायक खूब राम आनन्द ने 23 सितंबर, 2017 को इसका विधिवत उद्घाटन किया था लेकिन दो साल से भी अधिक समय बीत जाने के बाद भी सरकार यहां स्टाफ (Staff) नियुक्त नहीं कर पाया है।
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बता दें कि पौध रोग, फ़सल व फ़ल रोग समेत मृदा परीक्षण के लिए स्थापित यह प्रयोगशाला आनी की 32 ग्राम पंचायतों के गांवों की एकमात्र प्रयोगशाला है, लेकिन इस प्रयोगशाला में कोई भी विशेषज्ञ, लैब टेक्नीशियन, क्लर्क, ट्रेसर नहीं है, जिसके चलते यहां के किसानों और बागवानों के लिए यह भवन सफेद हाथी साबित हो रहा है। मौसम की अनियमितता और समय-समय पर फसलों, पौधों, फलों और मिट्टी में लगने वाले रोगों के लिए यहां के किसान-बागवानों को मृदा परीक्षण, पौध-रोग व अन्य फसलों, फलों के रोगों की जांच के लिए दर-दर भटकना पड़ता है।
इससे किसानों को दोहरी मार पड़ती है। एक तो उसका समय खराब होता है और दूसरा पैसे का नुकसान होता है। कांग्रेस कमेटी के पूर्व अध्यक्ष सन्तोष ठाकुर ने बताया कि यह प्लांट हेल्थ क्लिनिक (Plant Health Clinic) मात्र नाम का क्लिनिक है। उन्होंने कहा कि दो साल से भी ज़्यादा का वक़्त बीत जाने पर भी यहां किसी लैब टेक्नीशियन की तैनाती सरकार नहीं कर पाई। ऐसे में यहां की जनता हताश है। उन्होंने सरकार से मांग की है कि जल्द इस प्लांट हेल्थ क्लिनिक में अधिकारी व कर्मचारियों की तैनाती की जाए ताकि आनी के हजारों-लाखों किसान बागवानों को इस सुविधा का फायदा मिल सके।