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भगवान गणेश प्रथम पूजनीय देव है। कोई भी कार्य शुरु करने से पहले भगवान शिव व मां पार्वती पुत्र गणेश की पूजा करना शुभ माना जाता है। भगवान गणेश को विघ्नहर्ता कहा गया है जो हर विघ्न का नाश करते है। गणेश पूजा से शुरू किए गए कार्य बिना विघ्न आए पूरे हो जाते हैं। भगवान गणेश की उपासना कल्याणकारी मानी जाती है। वैसे को भगवान गणेश की अराधना का दिन बुधवार को होता है। लेकिन अगर उनकी रोज पूजा की जाए तो विशेष फलदायी होती है। भगवान गणेश से जुड़े इन मंत्रों का पाठ करने से सभी मनो कामनाएं पूरी होती है।
सफलता और सुरक्षित प्रमोशन, व्यवसाय विकास, घर पर समृद्धि और समग्र सुख में आने वाली बाधाओं को दूर करने के लिए “ॐ ह्रीं ऐं श्रीं सर्व कमलासनाया नमः” मंत्र का रोजाना 108 बार जाप करें। यह एक सात्विक मंत्र है जिसका उपयोग करना सभी के लिए आसान है।
किसी कार्य की शुरुआत करने के लिए श्री वक्रतुण्ड महाकाय सूर्य कोटी समप्रभा निर्विघ्नं कुरु मे देव सर्व-कार्येशु सर्वदा॥ मंत्र का जाप शुभ माना जाता है। इस मंत्र के उच्चारण से शुरू किया कार्य बिना बाधा के संपन्न होता है।
यदि आप चाहते है कि भगवान श्री गणेश जी विशेष कृपा आप पर सैदव बनी रहे और वे आपसे प्रसन्न रहे तो आप ऊँ एकदन्ताय विहे वक्रतुण्डाय धीमहि तन्नो दन्तिः प्रचोदयात्। मंत्र का उच्चारण प्रतिदिन पूजा के समय करें | इस मंत्र से पहले गणेश जी के स्तुति मंत्र का उच्चारण अवश्य करें। इस मंत्र के जाप से गणेश जी बुद्धि प्रदान करते हैं।)
विघ्नों के नाश के लिए गणेश जी के इस मंत्र का जाप किया जाता है।
गणपतिर्विघ्नराजो लम्बतुण्डो गजाननः।
द्वैमातुरश्च हेरम्ब एकदन्तो गणाधिपः॥
विनायकश्चारुकर्णः पशुपालो भवात्मजः।
द्वादशैतानि नामानि प्रातरुत्थाय यः पठेत्॥
विश्वं तस्य भवेद्वश्यं न च विघ्नं भवेत् क्वचित्।
ऊँ गं गणपतये नमः मंत्र को महामंत्र माना गया है। इसके जाप से गणपति प्रसन्न होते हैं और हर मनोरथ पूर्ण होते हैं।
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