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शिमला। सीएम वीरभद्र सिंह ने कहा कि विधानसभा चुनाव से पहले संगठनात्मक चुनाव आने के मामले पर फैसला पार्टी हाईकमान लेगा। उन्होंने कहा कि वे संगठन के मुखिया बनने के इच्छुक नहीं हैं, वे केवल संगठन को सेवाएं देंगे। वीरभद्र सिंह से पूछा गया कि पीसीसी चीफ सुखविंद्र सिंह फिर से अध्यक्ष बनने की इच्छा जता चुके हैं, इस पर क्या कहेंगे, इस सवाल पर सीएम ने कहा कि इच्छा एक जगह है और चुनाव दूसरी जगह। उनसे पीसीसी के कार्यकाल को लेकर भी सवाल किया गया, इस पर सीएम ने कहा कि अब पोस्टमार्टम का समय नहीं हैं। उनका कहना था कि जो लोग कांग्रेस में आना चाहते हैं उनका स्वागत है। वीरभद्र सिंह ने यह बात राजभवन में मीडिया से अनौपचारिक मुलाकात में कही।
वीरभद्र सिंह ने कहा कि उनके प्रचार का तरीका दूसरा है, वे लोगों को राजभवन लाने के बजाय उनके बीच जाकर प्रचार करते हैं। पीएम मोदी की रैली के बाद क्या कांग्रेस भी बड़ी रैली करेगी, इस प्रश्न के उत्तर में सीएम ने कहा कि उनके प्रचार का तरीका दूसरा है और वे गांव-गांव जाते हैं और सरकार और कांग्रेस की नीतियों को जन-जन के बीच ले जाते हैं। सिंह ने कहा कि उनका जनसंपर्क चुनाव के वक्त ही नहीं होता है, बल्कि यह तब से शुरू होता है, जब वह सीएम पद संभालते हैं।
वे उस वक्त से ही गांव-गांव जाकर जनसंपर्क करते हैं। उनका कहना था कि कांग्रेस बड़ी रैलियां भी करेगी, लेकिन ज्यादातर प्रचार गांव-गांव जाकर होगा। उन्होंने कहा कि वे जब से सीएम बने हैं तब से ही वे गांव-गांव जा रहे हैं। सीएम ने कहा कि बीजेपी छोड़ कांग्रेस में लोग आए हैं उनका स्वागत है। उन्होंने कहा कि जो लोग सच्चे दिल से और कांग्रेस की नीतियों में विश्वास कर संगठन में आना चाहते हैं, उनका भी स्वागत है।
शिमला। सीएम वीरभद्र सिंह ने कहा है कि रामपुर में जो पिछले दिनों हुआ, उसे राई का पहाड़ बनाया गया। उन्होंने कहा कि बीजेपी सुर्खियों में बने रहने के लिए इस मामले को तूल दे रही है। उनका कहना था कि बीजेपी की आदत है कि वह सुर्खियों में बने रहने को हर बात को तूल देती है। उन्होंने कहा कि हिमाचल में धर्म परिवर्तन को लेकर उन्होंने ही सबसे पहले कानून बनाया। यहां यदि किसी के धर्म परिवर्तन करना है तो उसके लिए एक माह पहले आवेदन करना पड़ता है और जबरदस्ती धर्म परिवर्तन नहीं किया जा सकता। यदि कोई ऐसा करता है तो उसके खिलाफ कानूनन कार्रवाई होगी। राजभवन में मीडिया से अनौपचारिक मुलाकात में वीरभद्र सिंह ने यह बात कही।
वीरभद्र सिंह ने कहा कि पिछले दिनों रामपुर के सीनियर सेकेंडरी स्कूल में एक कार्यक्रम होना था। इसके विरोध में कुछ लोग वहां स्कूल के गेट के पास गए थे और वहां तोड़-फोड़ की थी। उन्होंने कहा कि जिन लोगों ने मीटिंग रखी थी, उन्हें इसकी इजाजत नहीं दी गई थी। जब मीटिंग हुई ही नहीं, तो तोड़-फोड़ की क्या जरूरत थी। सीएम ने कहा कि बीजेपी ने महज सुर्खियों में बने रहने के लिए यह सब किया और यह ऐसे मामले उठाती रहती है। यदि बीजेपी ने फिर ऐसा किया तो सरकार इनसे सख्ती से निपटेगी।
कंडाघाट स्थित एक एक आश्रम के मामले को लेकर पूछे गए सवाल पर सीएम ने कहा कि कुछ लोग उनसे मिले थे और उनके साथ वे लोग साथ माकपा के लोग भी थे जो धर्म को नहीं मानते। उन्होंने कहा कि उनसे मुलाकात के दौरान तो वे साथ नहीं आए, लेकिन जो लोग आए थे, उनसे कई मुद्दों पर चर्चा हुई है और काफी बातें साफ हुई हैं। उन्होंने कहा कि वहां रह रहे बाबा को यदि सरकार का संरक्षण होता तो वहां जाने की हिम्मत किसमें होती। उन्होंने कहा कि संरक्षण के आरोप गलत हैं।
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