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भारत से चावल आना बंद हुआ तो अमेरिका में मची भगदड़, जमाखोरी करने लगे लोग
वॉशिंगटन। भारत ने अमेरिका को चावल (India Stopped Exporting Non Basmati Rice to US) भेजना क्या बंद किया, वहां रहने वाले भारतीय मूल के लोगों में चावल की जमाखोरी करने की मानों होड़ लग गई। भारत ने अपने यहां चावल के भंडार में आई कमी को देखते हुए यह फैसला लिया है। लेकिन इस फैसले का असर सात समंदर पार अमेरिका में हुआ है, जहां डिपार्टमेंटल स्टोर्स के बाहर चावल खरीदने वालों की लंबी कतारें नजर आ रही हैं।
#RiceExportBan US going crazy. This is at Costco.
(Received via a friend) pic.twitter.com/lOOucTlKf0— Anjan Dukh Bhanjan (@YehLoKalloBaat) July 22, 2023
सोशल मीडिया (Social Media) पर इससे जुड़े कई वीडियो वायरल (Viral Video) हो रहे हैं जिनमें लोग स्टोर्स पर लंबी-लंबी लाइन लगाए खड़े हैं। एक तस्वीर में दिख रहा है कि स्टोर में चावल की सारी बोरियां बिक चुकी हैं और सब कुछ खाली हो गया है।
#RiceExportBan US going crazy.
(Received via a friend) pic.twitter.com/nIwtn8INWf— Anjan Dukh Bhanjan (@YehLoKalloBaat) July 22, 2023
एक अन्य तस्वीर में देख रहा है कि लोग लंबी-लंबी लाइन लगाकर चावल खरीदने के लिए अपनी बारी का इंतजार कर रहे हैं। इसके अलावा एक अन्य तस्वीर में स्टोर पर नोटिस में साफ लिखा हुआ है कि वहां एक ग्राहक को एक ही चावल की बोरी मिल सकती है। अमेरिका में भारतीयों द्वारा संचालित किराना दुकानों ने भी मौके का फायदा उठाते हुए चावल की बोरियों की कीमत बढ़ानी शुरू कर दी है। एक एनआरआई ने बताया है कि चावल के 9 किलोग्राम बैग की कीमत अब 47 डॉलर है, जबकि निर्यात पर प्रतिबंध लगने से पहले यह 15-16 डॉलर पर बिक रही थीं।
दुनियाभर में बढ़ सकती हैं कीमतें
आपको बताते चलें कि दुनिया भर में भारत के चावल निर्यात (Rice Export) की हिस्सेदारी 40 फीसदी से भी अधिक है। भारत 2012 से ही दुनिया का सबसे बड़ा चावल निर्यातक रहा है। यही वजह है कि भारत के चावल निर्यात पर प्रतिबंध लगाने के फैसले से दुनियाभर में चावल की कीमतें बढ़ सकती हैं। 2022 के आंकड़े के मुतबाकि, भारत ने 140 से अधिक देशों को 55.4 मिलियन मीट्रिक टन चावल का निर्यात किया था। 2022-23 में अमेरिका और कनाडा ने भारत से 64,330 टन गैर-बासमती चावल का आयात किया था। पिछले साल, भारत के दो मुख्य प्रवासी बाजारों, खाड़ी देशों और यूरोप ने क्रमशः 6.95 लाख टन और 73 हजार का आयात किया था।
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कुछ और कदम उठा सकता है भारत
कुछ रिपोर्ट्स के मुताबिक केंद्र सरकार जल्द ही गेहूं और दाल की कीमतों को नियंत्रित करने के लिए भी कई बड़े कदम उठा सकती है। इस दौरान सरकार दालों और गेहूं के कुछ किस्मों के निर्यात पर बैन लगा सकती है। इसके साथ ही केंद्र सरकार आयात और सीमा शुल्क में बदलाव जैसे कदम भी उठा सकती है।