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ओमिक्रॉन को पहचानने वाली डॉक्टर ने जानिए कहा
नई दिल्ली। कोरोना के नए वैरिएंट ओमिक्रॉन से दुनिया भर में दहशत फैल गई है। इसे डेल्टा वैरिएंट से सात गुणा अधिक खतरनाक बताया जा रहा है। दक्षिण अफ्रीका से शुरू होकर ओमिक्रॉन भारत समेत कई देशों में दस्तक दे चुका है। वहीं, कोरोना वायरस के इस वैरिएंट के मुकाबले अभी बहुत कम जानकारी सामने आई है। इस बीच दक्षिण अफ्रीका की वह डॉक्टर, जिन्होंने सबसे पहले नए कोविड वैरिएंट को लेकर सचेत किया था, उन्होंने इसके लक्षणों के बारे में अहम जानकारी दी है। ताकि इस वैरिएंट के खिलाफ रणनीति बनाने में विभिन्न देशों के स्वास्थ्य एक्सपर्ट के काम आ सके।
डॉ एंजेलिक कोएत्जी के मुताबिक कोरोना के नए वैरिएंट ओमिक्रॉन के ‘असामान्य’ लक्षण दिख रहे हैं। दक्षिण अफ्रीकी प्रशासनिक राजधानी प्रिटोरिया में एक प्राइवेट प्रैक्टिस करने वाली डॉ एंजेलिक कोएत्जी ने कहा कि उन्होंने इस महीने की शुरुआत में पहली बार देखा कि कोविड के मरीजों में कई अजीब लक्षण दिख रहे हैं। दक्षिण अफ्रीकी मेडिकल एसोसिएशन की अध्यक्ष डॉक्टर एंजेलिक कोएत्जी के मुताबिक नए वैरिएंट से संक्रमित मरीजों को टेस्ट और स्मेल लॉस नहीं हो रहा है, जबकि डेल्टा की चपेट में आने के बाद स्वाद चला जाना और स्मेल ना आना कोरोना के लक्षण थे।
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उन्होंने अफ्रीकी अखबार को बताया कि डॉ कोएत्जी ने बताया कि नए कोरोना वैरिएंट में डेल्टा, गामा और बीटा से बिल्कुल अलग लक्षण दिख रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस वैरिएंट के लक्षण माइल्ड हैं। जो भी मरीज कोरोना के इस वायरस से संक्रमित हो रहे हैं, उन्हें थकान महसूस हो रही है। साथ ही कहा कि मरीजों का पल्स रेट हाई हो जा रही है। उन्होंने ओमिक्रॉन के नए लक्षणों के बारे में दक्षिण अफ्रीका के वैक्सीन सलाहकार बोर्ड को जानकारी दे दी है।
इस महीने की शुरुआत में पहली बार दक्षिण अफ्रीका में खोजा गया ओमिक्रॉन ब्रिटेन, जर्मनी, इटली, बेल्जियम, बोत्सवाना, इजराइल, हांगकांग और ऑस्ट्रेलिया में भी एंट्री कर चुका है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) द्वारा पिछले सप्ताह ओमिक्रॉन ‘वैरिएंट ऑफ कंसर्न’ करार दिया गया।
सबसे बड़ी चिंता इस बात की जताई जा रही है कि ये वैरिएंट वैक्सीन को निष्प्रभावी कर सकता है और महामारी को लम्बा खींच सकता है। पिछले वैरिएंट डेल्टा की तुलना में ओमिक्रॉन संभावित रूप से ज्यादा संक्रामक है, हालांकि विशेषज्ञों को अभी तक यह नहीं पता है कि क्या यह अन्य वैरिएंट की तुलना में कम या ज्यादा खतरनाक हो सकता है यानी कि मरीज मरीजों की हालत अस्पताल में भर्ती करने लायक कर सकता है या नहीं। हालांकि डॉ कोएत्जी के मुताबिक उन्होंने जो नए लक्षण देखे हैं, वे ‘माइल्ड’ हैं और वह जिन रोगियों का इलाज कर रही थीं वे सभी ठीक हो गए।