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जम्मू-कश्मीर में जल्द हो सकते हैं चुनाव, अनुच्छेद 370 पर सुनवाई के दौरान केंद्र का भरोसा
अनुच्छेद 370 (Article 370) को निरस्त करने को चुनौती देने वाली याचिका पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में याचिका का विरोध करते हुए केंद्र की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि (Government is Ready for Elections in Jammu and Kashmir at Any Time) सरकार जम्मू-कश्मीर में किसी भी समय चुनाव के लिए तैयार हैं। जम्मू.कश्मीर (Jammu and Kashmir) का राज्य का दर्जा बहाल करने के लिए तेजी से काम हो रहा है लेकिन इसको लेकर कोई तय समय सीमा बताने में असमर्थ है। हालांकि केंद्र ने स्पष्ट किया कि जम्मू.कश्मीर का केंद्र शासित प्रदेश का दर्जा अस्थायी है और इसे पूर्ण राज्य बनाने के लिए काम जारी है।
केंद्र शासित प्रदेश का दर्जा अस्थायी
केंद्र ने कहा कि जम्मू-कश्मीर में तीन चुनाव बाकी हैं। जैसे ही पहला (Three-Tier Panchayati Raj System) त्रिस्तरीय पंचायती राज सिस्टम लाया जाएगा, वैसे ही पहले चुनाव पंचायत के होंगे। सुप्रीम कोर्ट में केंद्र की तरफ से पेश हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता (Solicitor General Tushar Mehta) ने कहा कि (Elections for Leh Hill Development Council) लेह हिल डेवलपमेंट काउंसिल के चुनाव खत्म हो चुके हैं और कारगिल में सितंबर में चुनाव होने हैं। केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि वह जम्मू.कश्मीर को वापस राज्य का दर्जा देने की समय सीमा नहीं बता सकता। हालांकि, केंद्र ने साफ किया कि जम्मू-कश्मीर का केंद्र शासित प्रदेश का दर्जा अस्थायी (Union Territory of Jammu and Kashmir is Temporary) है और इसे पूर्ण राज्य का दर्जा देने के लिए काम जारी है।