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52 साल बाद भारत के Republic Day पर किसी देश का राष्ट्र प्रमुख चीफ गेस्ट नहीं
नई दिल्ली। भारत के गणतंत्र दिवस ( Republic Day) पर इस बार किसी भी देश का कोई राष्ट्राध्यक्ष ( Head of State) बतौर मुख्यातिथि (Chief Guest) शिरकत नहीं करेगा। पिछले 52 साल में पहली बार ऐसा हो रहा है कि भारत (India) के गणतंत्र दिवस के मौके पर किसी भी देश (Country) का राष्ट्राध्यक्ष बतौर मुख्यातिथि मौजूद नहीं होगा। पिछली बार 1966 में ऐसा हुआ था, जबकि 1952 और 1953 के रिपब्लिक डे पर भी दूसरे देश का राष्ट्र प्रमुख चीफ गेस्ट (Chief Guest) नहीं रहा है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव का कहना है कि कोरोना के चलते यह फैसला लिया गया है।
इसके अलावा तीन मर्तबा गणतंत्र दिवस पर दो-दो मुख्यातिथि आमंत्रित किए जा चुके हैं, जिन्होंने गणतंत्र दिवस समारोह में शिरकत भी की थी। 1956, 1968 और 1974 में गणतंत्र दिवस के मौके पर दो-दो मुख्यातिथियों ने शिरकत की थी। साथ ही 2018 में दस एशियाई देशों के प्रमुख बतौर चीफ गेस्ट रिपब्लिक डे समारोह में शामिल हुए थे। यह पहला मौका था जब एक साथ दस राष्ट्र प्रमुखों ने गणतंत्र दिवस समारोह में हिस्सा लिया था।
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हालांकि इस साल भारत ने ब्रिटेन के पीएम बोरिस जॉनसन को बतौर मुख्यातिथि आमंत्रित किया था, लेकिन बोरिस ने अपने देश में कोरोना के हालातों के चलते भारत का दौरा रद्द कर दिया। इस बीच कोरोना के चलते भारत ने अब किसी भी देश के राष्ट्र प्रमुख को बतौर मुख्यातिथि गणतंत्र दिवस पर आमंत्रित ही नहीं किया। इससे पहले 1966 में भी ऐसा ही हुआ था, जबकि आजाद भारत में चौथी बार ऐसा होगा जब किसी भी देश का राष्ट्र प्रमुख भारत के गणतंत्र दिवस पर शिकरत नहीं करेगा।
कोरोना के चलते इस बार गणतंत्र दिवस समारोह में काफी ज्यादा सादगी रहेगी। इसके अलावा कार्यक्रम में कोरोना से बचाव के जारी गाइडलाइन्स का भी पूरा पालन किया जाएगा। गणतंत्र दिवस पर शिरकत ना करने और दौरा रद्द करने के लिए ब्रिटिश पीएम बोरिस जॉनसन ने खेद भी जताया था। बता दें कि ब्रिटेन में कोरोना एक बार फिर से तेजी से फैल रहा है। इस कारण ब्रिटिश पीएम को अपना दौरा रद्द करना पड़ा।