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सस्ती #EMI के लिए अभी करना होगा इंतजार, #Repo_Rate 4 फीसदी पर बरकरार
नई दिल्ली। RBI गर्वनर शक्तिकांत दास (RBI Governor Shaktikant Das) की अगुवाई में दो दिसंबर को शुरू हुई भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की मौद्रिक नीति समिति की बैठक आज समाप्त हो गई है। केंद्रीय बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर समिति द्वारा लिए गए फैसलों की घोषणा की। RBI ने रेपो रेट स्थिर रखी है, जिसका मतलब है कि ग्राहकों को अभी सस्ती EMI के लिए इंतजार करना होगा।
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गौर हो कि केंद्रीय बैंक इस साल फरवरी से रेपो दर में 1.15 फीसदी की कटौती कर चुका है। आखिरी बार मई में ब्याज दरों में 0.40 फीसदी और मार्च में 0.75 फीसदी की कटौती की गई थी। दास ने कहा कि रिवर्स रेपो रेट को भी 3.35 फीसदी पर स्थिर रखा गया है। इसके साथ ही बैंक रेट में भी कोई बदलाव नहीं करने का फैसला लिया गया है। यह 4.25 फीसदी पर और कैश रिजर्व रेशो तीन फीसदी पर स्थिर है। SLR 18 फीसदी और मार्जिनल स्टैंडिंग फसिलिटी (MSF) रेट 4.25 फीसदी पर है।मौद्रिक नीति समिति के सभी सदस्यों ने मुद्रास्फीति के उच्च स्तर को देखते हुए नीतिगत दर को यथावत रखने के पक्ष में निर्णय किया।
अगली तिमाही में देश की जीडीपी ग्रोथ पॉजिटिव में लौटने की उम्मीद
दास ने कहा कि अगली तिमाही में देश की जीडीपी ग्रोथ निगेटिव से पॉजिटिव में लौटने की उम्मीद है। आरबीआई ने अगली तिमाही के लिए जीडीपी ग्रोथ का अनुमान बढ़ाकर 0.10 फीसदी कर दिया है। वहीं, चौथी तिमाही के दौरान देश की जीडीपी ग्रोथ 0.70 फीसदी रहने का अनुमान है। हालांकि, पूरे वित्त वर्ष के लिए जीडीपी ग्रोथ -7.5 फीसदी रह सकती है। दास ने बताया कि भारतीय सरकार की ओर से जारी राहत पैकेज से रिकवरी आई है।
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गवर्नर ने बताया कि अगस्त में इमर्जिंग मार्केट्स का मैन्युफैक्चरिंग PMI एक बार फिर से एक्सपैंशन मोड में यानी 50 से ऊपर चला गया और सितंबर में उनका उत्पादन रेट पॉजिटिव हो गया। अक्तूबर में सेवा क्षेत्र PMI विकसित बाजारों के लेवल पर पहुंच गया।केंद्रीय बैंक ने कहा कि कॉमर्शियल बैंक 2019-20 के लिए लाभांश का भुगतान नहीं करेंगे।उपभोक्ता मूल्य सूचकांक आधारित मुद्रास्फीति तीसरी तिमाही में 6.8 फीसदी और चौथी तिमाही में 5.8 फीसदी रहने का अनुमान है।शक्तिकांत दास ने कहा कि रियल टाइम ग्रॉस सेटलमेंट (RTGS) सिस्टम अगले कुछ दिनों में 24 घंटे सातों दिन उपलब्ध होगा। यानी अब आपको बड़ी रकम ट्रांसफर करने के लिए बैंक के खुलने और बंद होने का इंतजार नहीं करना होगा। बैठक में लिए गए फैसलों से साफ है कि RBI ने मौद्रिक नीति में नरम रुख को बरकरार रखा है, केंद्रीय बैंक के गर्वनर शक्तिकांत दास ने कहा कि अर्थव्यवस्था में पर्याप्त नकदी उपलब्ध करवाई जाएगी और जरूरत पड़ने पर सभी आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।