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गाजीपुर बॉर्डर पर किसान ने लगाया फंदा, Suicide Note में सरकार को ठहराया जिम्मेदार
नई दिल्ली। कड़ाके की ठंड के बीच दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे किसानों का आंदोलन (#FarmersProtest) आज 38वें दिन में प्रवेश कर चुका है। किसान आंदोलन के साथ किसानों की मौत और आत्महत्या के मामले भी बढ़ते जा रहे हैं। गाजीपुर बॉर्डर (Ghazipur border) पर 75 वर्षीय किसान की आत्महत्या की खबर सामने आई है। सुबह पुलिस को खबर मिली कि फ्लाईओवर के नीचे शौचालय में एक बुजुर्ग किसान ने फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली। सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंची और शव को फंदे से उतारा गया। मृतक किसान की पहचान कश्मीर सिंह (75) निवासी बिलासपुर, उत्तराखंड के रूप में हुई है। किसान ने एक सुसाइड नोट पंजाबी में लिखकर छोड़ा है।
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किसान कश्मीर सिंह ने अपने सुसाइड नोट (Suicide Note) में लिखा, “मेरा अंतिम संस्कार मेरे पोते-बच्चे के हाथों यहीं दिल्ली-यूपी बॉर्डर पर होना चाहिए। उनका परिवार बेटा-पोता यहीं आंदोलन में निरंतर सेवा कर रहे हैं।” कश्मीर सिंह ने अपनी आत्महत्या के लिए सरकार को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने लिखा, “आखिर हम कब तक यहां सर्दी में बैठे रहेंगे। इसका कारण आंदोलन के मद्देनजर इस सरकार को फेल होना बताया है और कहा है कि यह सरकार सुन नहीं रही है इसलिए अपनी जान देकर जा रहा हूं।
” यूपी पुलिस ने अब सुसाइड नोट अपने कब्जे में ले लिया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
दिल्ली-हरियाणा-पंजाब बॉर्डर पर ठंड की वजह से भी कई किसान (Farmer) अपनी जान भी गंवा चुके हैं। शुक्रवार को गाजीपुर बॉर्डर (Ghazipur border) पर तबीयत खराब होने की वजह से एक और किसान की मौत हो गई थी। किसान का नाम गलतान सिंह तोमर था। गलतान सिंह तोमर बागपत जिले के मोजिदबाद गांव का रहने वाला था। उसकी उम्र 65 से 70 के बीच थी। शुरुआती जांच के मुताबिक ठंड के चलते उसकी मौत हुई। गलतान सिंह पहले दिन से ही आंदोलन से जुड़ा हुआ था।