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डॉ रचना गुप्ता की नई किताब ‘शिमला’ का विश्व पुस्तक मेला में लोकार्पण
Book Launch:नई दिल्ली। लोक सेवा आयोग की पूर्व सदस्य डॉ रचना गुप्ता(Dr. Rachna Gupta) की नई किताब ‘शिमला’ गुरुवार को विश्व पुस्तक मेला (World Book Fair) में लांच हो गई। राजधानी दिल्ली के प्रगति मैदान के थीम मंडप (Theme Pavilion)में वरिष्ठ पत्रकार और साहित्यकार राहुल देव (Rahul Dev)ने पुस्तक का विमोचन किया। ‘शिमला’ को राष्ट्रीय पुस्तक न्यास ने प्रकाशित किया है।
हर पन्ना एक नई दास्तां बयां करता है
पहाड़ों की रानी शिमला में पली-बढ़ी डॉ रचना गुप्ता को अपने इस शहर से विशेष लगाव है। यहां के घने लंबे देवदार और बर्फ की सफेद चादरों में लिपटे पहाड़ों के मनोरम दृश्यों ने इन्हें काफी प्रभावित किया है। डॉ रचना ही नहीं, शिमला की साफ सुथरी व ठंडी आबोहवा की दीवानी दुनिया है। शिमला अभी करीब दो सदी का हुआ है लेकिन इतने कम समय में इसकी शोहरत दुनिया भर में इस तरह व्यापक रूप से फैल गई कि यह शहर देश के मानचित्र की लकीरों से इतर लोगों के दिलो-दिमाग में बस गया। इस शहर के सफर का हर पन्ना एक नई दास्तां बयां करता है। यह कहानी दर्द भरी भी है, मौज मस्ती से ओतप्रोत भी है, युवा दिलों के धड़कनों की भी है व अद्भुत वास्तुकला की भी है। यह कहानी ऐसे किस्से-कहानियों से भी भरी हुई है जो समय के साथ-साथ पिघल भी रहे हैं।
इस पुस्तक में कुल 27 अध्याय हैं
शिमला भारत की आजादी की गाथा के साथ ही ब्रितानी हुकूमत के लंबे दौर का साक्षी रहा है। उस दौर में क्या और कैसे घटा? डॉ रचना गुप्ता ने ऐसी ही खास घटनाओं की गहराई जाकर विश्लेषण कर उन्हें कलमबद्ध किया है। इस पुस्तक में कुल 27 अध्याय हैं जिनमें ऐसी अनेक घटनाएं जो पाठकों मन-मस्तिष्क को प्रभावित कर सकती हैं। इस पुस्तक में शिमला के अतीत और वर्तमान के छुए व अनछुए पहलुओं को समझने और उनके प्रभावों के बारे में जानने के लिए शोधपरक प्रयास किया गया है। डॉ. रचना गुप्ता करीब दो दशक से अधिक समय तक पत्रकारिता जुड़ी रही हैं और ‘शिमला’ से पहले ‘देवधरा’ भी लिख चुकी हैं।