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केंद्र, राज्य की नीतियों के खिलाफ सीटू का राज्यव्यापी प्रदर्शन 24 जनवरी को
लेखराज धरटा/शिमला। केंद्र सरकार की मजदूर, किसान, कर्मचारी व जनता विरोधी नीतियों के खिलाफ सीटू 24 जनवरी से प्रदेशभर में मोर्चा खोलेगा। संगठन ने 14 जनवरी को प्रदेशव्यापी प्रदर्शन (Statewide Agitation) का ऐलान किया है। सीटू की हिमाचल राज्य कमेटी (Himachal State Committee) की रविवार को बिलासपुर में हुई बैठक में यह फैसला लिया गया। बैठक की अध्यक्षता संगठन के प्रदेशाध्यक्ष विजेंद्र मेहरा ने की। इसमें केंद्र की मजदूर, किसान, कर्मचारी और जनता विरोधी नीतियों के खिलाफ 16 फरवरी 2024 को देशव्यापी हड़ताल और आंगनवाड़ी, आशा और मिड-डे मील कर्मियों की मांगों को लेकर 24 जनवरी को प्रदेशव्यापी प्रदर्शन के साथ ही श्रमिक कल्याण बोर्ड (Labor Welfare Board) से आर्थिक लाभ की बहाली के मुद्दे पर 29 जनवरी से 5 फरवरी तक प्रदेशव्यापी प्रदर्शन करने का निर्णय लिया गया है।
ये हैं सीटू की मांगें
सीटू प्रदेशाध्यक्ष विजेंद्र मेहरा और महासचिव प्रेम गौतम ने कहा कि 16 फरवरी की राष्ट्रव्यापी हड़ताल मजदूरों का न्यूनतम वेतन 26 हज़ार रुपये घोषित करने, मजदूर विरोधी चार लेबर कोड (Labor Code) को रद्द करने, किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य देने, स्वामीनाथन कमीशन की सिफारिशों को लागू करने, शहरी क्षेत्रों में विस्तार के साथ ही मनरेगा में 600 रुपये प्रतिदिन की मजदूरी पर 200 दिन काम देने, मनरेगा, निर्माण तथा बीआरओ मजदूरों का श्रमिक कल्याण बोर्ड में पंजीकरण व आर्थिक लाभ बहाल करने, आउटसोर्स कर्मियों के लिए नीति बनाने, नौकरी से निकाले गए कोविड कर्मियों (Covid Warriors) को बहाल करने, भारी महंगाई पर रोक लगाने, योजना कर्मियों को नियमित करने, सार्वजनिक उपक्रमों के निजीकरण को रोकने, किसानों की कर्ज़ामुक्ति आदि मांगों को लेकर होगी।