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KYC प्रक्रिया अब होगी और सख्त, एक से ज्यादा अकाउंट्स रखने वाले जरूर पढ़े ये खबर
KYC प्रक्रिया को अब बैंक (Bank) और सख्त करने वाले हैं, इसे और सख्त बनाने के लिए बैंक खाता और खाताधारक (Account Holders) की पहचान करने के लिए अब और वेरिफिकेशन लेयर्स (Verification Layers) जोड़ने जा रहे हैं। रिपोर्ट के अनुसार, अब एक फोन नंबर से जुड़े एक या उससे ज्यादा खाते या फिर ज्वाइंट खाते में KYC को अपडेट किया जाएगा। जिन लोगों के एक से ज्यादा खाते हैं और उन्होंने अलग-अलग दस्तावेजों से खाता खोला है तो उनका बैंक और भी वेरिफिकेशन कर सकते हैं।
इकोनॉमिक टाइम्स की एक रिपोर्ट के अनुसार, बैंक के एक अधिकारी ने बताया कि ज्वाइंट खाते के लिए पैन, आधार और यूनिक मोबाइल नंबर के तौर पर मल्टी लेवल सेकेंडरी आईडेंटीफायर्स पर गौर किया जा रहा है। आने वाले दिनों में एक से ज्यादा खाते रखने वाले लोगों का ज्यादा वेरिफिकेशन किया जा सकता है और ऐसे खाताधारकों से बैंक KYC के लिए ज्यादा दस्तावेजों की डिमांड कर सकते हैं।
क्या है KYC?
KYC का मतलब नो योर कस्टमर है, ये कस्टमर आइडेंटिफिकेशन प्रक्रिया होती है। इस प्रक्रिया के तहत कस्टमर्स केवाईसी फॉर्म के साथ सभी जरूरी दस्तावेज जैसे कि- आधार कार्ड, पैन कार्ड, वोटर कार्ड, पासपोर्ट इत्यादि की फोटो कॉपी जमा कराते हैं। सभी कंपनियां, बैंक, सरकारी योजनाएं अपने-इस डॉक्यूमेंट में ग्राहक से सम्बंधित जानकारी एकत्रित करते हैं, जिससे भविष्य में किसी भी प्रकार की दुर्घटना के होने पर उस व्यक्ति की पहचान की जा सके।
KYC के नियम………
कस्टमर आइडेंटिफिकेशन प्रक्रिया के तहत कंपनियां या बैंक पहचान और पते के लिए दस्तावेजों की मांग करती है और ग्राहक के द्वारा Application में दी गई जानकारियों को दस्तावेजों के साथ मिलाती है। ग्राहकों को Documents के वेरिफिकेशन के बाद ही बैंक की सेवाएं ऑफर की जा सकती है। सभी दस्तावेजों को Update होना जरूरी है। KYC ना होने पर बैंक या सर्विस प्रोवाइडर सेवा ना देने का फैसला ले सकता है। नियमों के तहत नए ग्राहकों और पुराने ग्राहकों दोनों को ही KYC की प्रक्रिया का पालन करना होता है।