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जरूरतमंदों को खाना खिलाने वाले WFP को मिला 2020 का नोबेल शांति पुरस्कार
नई दिल्ली। नॉर्वे की नोबल कमिटी ने 2020 के लिए शांति का नोबल पुरस्कार (2020 Nobel Peace Prize) वर्ल्ड फूड प्रोग्राम (WFP) को देने का फैसला किया है। डब्ल्यूएफपी को यह पुरस्कार भूख से लड़ने, युद्धग्रस्त क्षेत्रों में शांति के लिए बेहतर माहौल बनाने और भूख को युद्ध व विवाद का हथियार बनाने से रोकने की उसकी कोशिशों के लिए प्रदान किया जाएगा। इस साल नोबेल शांति पुरस्कार का सम्मान पाने के लिए 300 से भी अधिक व्यक्तियों और संस्थाओं को नामांकित किया गया था। यह चौथी बार है जब इतनी बड़ी संख्या में इस सम्मान के लिए नामांकन हुआ है।
BREAKING NEWS:
The Norwegian Nobel Committee has decided to award the 2020 Nobel Peace Prize to the World Food Programme (WFP).#NobelPrize #NobelPeacePrize pic.twitter.com/fjnKfXjE3E— The Nobel Prize (@NobelPrize) October 9, 2020
नोबेल पुरस्कार समिति की ओर से कहा गया कि इस संस्था ने भूख के खिलाफ एक बड़ी जंग लड़ी है। संघर्ष से प्रभावित क्षेत्रों में शांति के लिए बेहतर स्थिति में योगदान के लिए और युद्ध के हथियार के रूप में भूख के उपयोग को रोकने के लिए और भूख से निपटने के लिए अपने प्रयासों के लिए WFP को 2020 Nobel Peace Prize से सम्मानित किया गया है। विश्व खाद्य कार्यक्रम दुनिया का सबसे बड़ा मानवीय संगठन है जो भूख के खिलाफ जंग लड़ता है और खाद्य सुरक्षा को बढ़ावा देता है। 2019 में, WFP ने 88 देशों में करीब 100 मिलियन लोगों को सहायता प्रदान की।
अर्थशास्त्र के क्षेत्र में इस पुरस्कार की घोषणा अभी बाकी है
पिछले साल नोबेल शांति पुरस्कार इथियोपिया के पीएम अबी अहमद अली (Abiy Ahmed Ali) को देने की घोषणा की गई थी। यह पुरस्कार उनके देश के चिर शत्रु इरिट्रिया के साथ संघर्ष को सुलझाने के लिए दिया गया था। बता दें कि नोबेल पुरस्कार के तहत स्वर्ण पदक, एक करोड़ स्वीडिश क्रोना (तकरीबन 8.27 करोड़ रुपए) की राशि दी जाती है। स्वीडिश क्रोना स्वीडन की मुद्रा है। यह पुरस्कार स्वीडन के वैज्ञानिक अल्फ्रेड नोबेल के नाम पर दिया जाता है। इससे पहले, रसायन विज्ञान और भौतिकी सहित कई क्षेत्रों में इस साल के नोबेल पुरस्कार की घोषणा की जा चुकी है। अर्थशास्त्र के क्षेत्र में इस पुरस्कार की घोषणा अभी बाकी है।