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विदेशी वस्तुओं के बहिष्कार को युवाओं ने खोला मोर्चा, दुकानों में बांटे Pamphlet
Last Updated on June 20, 2020 by
कुल्लू। लद्दाख की गलवान घाटी में शहीदों की शहादत के बाद पूरे देश में गुस्सा है। देशवासी चीनी और विदेशी वस्तुओं के बहिष्कार (Boycott) की मांग कर रहे हैं। इसी कड़ी में वोकल फॉर लोकल अभियान के तहत कुल्लू शहर में युवाओं ने लोगों को जागरूक करने के लिए शहर में दुकानदारों व ग्राहकों को पंफलेट बांट कर विदेशी कंपनियों (Foreign companies) की जानकारी दी। दर्जनों युवा इस अभियान से जुड़ कर गांव-गांव शहर-शहर में लोगों को स्वदेशी अपनाने को लेकर जागरूक कर रहे हैं। युवाओं ने लोगों से विदेशी कंपनियों के बहिष्कार की मांग की है ताकि देश की आर्थिकी मजबूत हो सके।
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वोकल फॉर लोकल मुहिम में सरकार के साथ युवा
स्थानीय युवा क्षतिज ने बताया कि वोकल फॉर लोकल (Vocal for Local) मुहिम में सरकार के समर्थन में युवा आगे बढ़ रहे हैं। उन्होंने कहा कि दुकानदार व व्यापारियों को भी नुकसान हो रहा है। सभी युवा विदेशी वस्तुओं के बहिष्कार के लिए अभियान चला रहे हैं जिससे देश का पैसा देश में रहे और अर्थव्यवस्था सदृढ़ हो सके। देश का युवा विदेशों में जा रहा है जिससे नासा में 30 प्रतिशत इंडियन साइंसटिस्ट हैं वो भी पैसे की वजह है बाहर जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि वे लोग पंफलेट के माध्यम से देशी और विदेशी कंपनियों के बारे में लोगों को जागरूक कर रहे हैं। लिस्ट में 100 विदेशी और 100 देसी कंपनियों की लिस्ट है ताकि लोगों को स्वदेशी व विदेशी कंपनियों के बारे में डिटेल मिले। उन्होंने कहा कि भारत 70 प्रतिशत गांव में बसता है इसलिए गांव-गांव के लोगों को जागरूक करने के लिए युवा इकट्ठा हुए हैं।
स्थानीय दुकानदार महेंद्र सिंह ने बताया कि कोरोना के चलते अर्थव्यवस्था तहस-नहस हुई है और बाजार में मंदी का माहौल है ऐसे में चीन भारत को आंखें दिखा रहा है और सीमाओं पर तनाव बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि हम विदेशी वस्तुओं का बहिष्कार करें और स्वदेशी अपनाएं। चीन निर्मित वस्तुओं का प्रयोग करने से चीन की अर्थव्यवस्था सदृढ़ हो रही है इस पैसे से चीन अपने सैनिकों पर खर्च कर हमारी सीमाओं पर अतिक्रमण कर रहा है। हमारे देश में अच्छी कंपनियां है जिससे यहां पर भी अच्छी क्वालिटी वाली वस्तुओं का निर्माण होता है तो फिर हम चीन की वस्तुएं क्यों खरीदें। जब देश का प्रत्येक नागरिक देश के बारे में सोचेगा तभी देश की अर्थव्यवस्था मजबूत होगी जिससे हमारे देश की कंपनियां बिजनेस बढ़ाएंगी और देश के लोगों को यहीं पर रोजगार मिलेगा। जनता को इसके लिए सोचना पड़ेगा तभी सरकार भी कुछ करेगी।