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हाईकोर्ट ने ईश निंदा के आरोपी नदीम अख्तर की अग्रिम जमानत खारिज की
शिमला। प्रदेश हाईकोर्ट ने शिवलिंग और नंदी भगवान को सोशल मीडिया (Social Media) के माध्यम से अपमानित करने के आरोपी डॉक्टर नदीम अख़्तर (Nadeem Akhtar) की अग्रिम जमानत याचिका सोमवार को खारिज कर दी। न्यायाधीश विरेंदर सिंह ने प्रार्थी की याचिका को खारिज करते हुए कहा कि आरोपी को अग्रिम जमानत प्रदान करने से समाज को गलत संदेश जाएगा।
कोर्ट (Himachal High Court) ने कहा कि अंतरिम जमानत देने से असामाजिक तत्वों को ऐसे कमेंट करने का बढ़ावा भी मिल सकता है। कोर्ट ने प्रथम दृष्टया पाया कि प्रार्थी ने दूसरे धर्म के लोगों की भावनाओं को आहत करने की दृष्टि से सोशल मीडिया का दुरुपयोग किया। पुलिस ने अनेकों आशंकाओं का हवाला देते हुए अग्रिम जमानत याचिका का विरोध किया था।
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यह है पूरा मामला
मामले के अनुसार 3 जून को मेहतपुर जिला पुलिस स्टेशन को एक शिकायत मिली थी, जिसे ऊना पुलिस स्टेशन को भेजा गया था। शिकायत में कहा गया था कि क्षेत्र में आंखों का क्लीनिक चला रहे डॉक्टर ने भगवान शिव और शिवलिंग के बारे में सोशल मीडिया फेसबुक के माध्यम से भद्दे कमेंट किए हैं। शिकायत करने वालों का कहना था कि आरोपी ऐसे भद्दे कमेंट करने का आदि है और उसके कमेंट से उनकी धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंची है। शिकायतकर्ताओं ने पुलिस से मामले की गंभीरता से जांच करने की गुहार लगाई थी। आरोपी के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 295 ए के तहत प्राथमिकी दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई थी।