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दियोली सहकारी सभा गबन मामला: पंजीयक अधिकारी ने किया प्रधान को बर्खास्त
ऊना। हिमाचल (Himachal) के ऊना (UNA) से बड़ा मामला सामने आया है। सहकारिता विभाग ऊना (cooperative society una) के अतिरिक्त पंजीयक अधिकारी रत्न बेदी ने अपनी विशेष शक्तियों का प्रयोग करते हुए दियोली सहकारी सभा के प्रधान सुरेंद्र सिंह और जुगल किशोर को तत्काल प्रभाव से बर्खास्त कर दिया है।
दोनों को पाया गया दोषी
मिली जानाकारी के मुताबिक उक्त दोनों व्यक्तियों को बहुचर्चित 13.20 करोड़ रुपए के गबन का दोषी पाया गया। वहीं, 2014 से 2019 तक की कमेटी को भी गबन का दोषी पाया गया। उस कमेटी में वर्तमान प्रधान सुरेंद्र सिंह व वर्तमान कमेटी का सदस्य जुगल किशोर भी शामिल थे। गबन का दोषी पाए जाए पर दोनों सदस्य डिफॉल्टर श्रेणी में आ गए। वहीं, सहकारी सभाएं नियामवली के अनुसार ये लोग सहकारी सभा के किसी भी पद पर नहीं रह सकते थे। जिसके चलते दोनों को सस्पेंड कर दिया गया।
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रजिस्ट्रार के पास की थी अपील
वहीं, गबन की जांच के चलते एआर ऊना ने वर्तमान प्रधान से वित्तीय शक्तियां छीन ली थीं। अब कार्रवाई करते हुए प्रधान और एक सदस्य को बर्खास्त कर दिया है। बता दें कि दियोली सहकारी सभा में 13 करोड़ 20 लाख के गबन को लेकर पिछले दो साल से लगातार खाताधारक अपनी अमानत के लिए संघर्ष कर रहे हैं।
सहकारी सभा पंजीयक की अदालत ने एक कमेटी को इस गबन का दोषी मानते हुए सभा के सदस्यों की प्रॉपर्टी अटैच करके सभा के सदस्यों को अमानत देने के निर्देश जारी किए हैं। जिसके बाद सभा के सदस्यों ने फैसले के खिलाफ शिमला रजिस्ट्रार के पास अपनी अपील दर्ज करवाई। ऐसा माना जा रहा है कि सभा में एफडीआर के रुपए को लेकर गबन किया गया है। जिसकी खाताधारकों को रसीद तक दी गई, लेकिन रुपए उनके खाते में जमा नहीं करवाए गए।
पुलिस भी कर रही मामले की जांच
इस मामले की जांच सहकारिता विभाग और पुलिस अलग-अलग तरीके से कर रही है। पुलिस की जांच अभी चल रही है। इस मामले में सभा का सचिव और उस कमेटी के प्रधान को भी गिरफ्तार किया गया था, जबकि सभा के चौकीदार ने इस मामले में अग्रिम जमानत मिली थी। जो अब भी जांच के दायरे में है। पुलिस का दावा है कि इस मामले में अभी और भी गिरफ्तारियां हो सकती हैं।
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