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सुबह-सुबह स्टडी करने से कठिन विषयों पर भी पाया जा सकता है काबू
अकसर हमारे बुजुर्ग हमें सुबह-सुबह उठकर पढ़ाई करने (wake up early to study) की हिदायत देते हैं। ऐसा तर्क दिया जाता है कि सुबह का याद किया हुआ कभी भूलता भी नहीं है और जल्द याद भी हो जाता है। आज भी कई घरों में सुबह-सुबह उठकर बच्चे पढ़ाई करते हैं। कहा जाता है कि सुबह एनर्जी (Energy) भी चरम पर होती है और एक्जाम क्लीयर करने में मदद भी मिलती है। पर क्या आपको पता है कि सुबह-सुबह उठकर पढ़ाई करना वाकई फायदेमंद है। आइए आज हम आपको बताते हैं कि सुबह-सुबह पढ़ाई करना फायदेमंद है अथवा नहीं। इस संबंध में यूनिवर्सिटी ऑफ ससेक्स ओर एक अध्ययन किया गया है। इसमें सामने आया है कि इंसान दिन भर दो तरह से क्रिया करता है। सिमेंटिक और डिक्लेरेटिव। सुबह के समय हम डिक्लेरेटिव प्रोसेस में हम शांत होते हैं। इस समय घोषणात्मक मेमोरीज (declarative memories) हमें आसानी से याद हो जाती हैं। जैसे कि फैक्ट्स, डेट्स नाम और फिगर्स आदि। यही कारण होता है कि सुबह-सुबह स्टडी करने से हमें यह जल्द लर्न हो जाता है। इसके विपरीत दोपहर के बाद सिमेंटिक मेमोरी प्रोसेस में होते हैं। इस समय दिमाग में काफी बातें चल रही होती हैं।
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इस समय हम केवल बाकी की मिल रही जानकारी को ही याद रख सकते हैं। सुबह के समय में स्टडी करने का ज्यादा फायदा यह है कि कम समय में हमें ज्यादा याद हो जाता है। सुबह मन-मस्तिष्क तरोताजा रहता है। इसलिए सब कुछ बिना ज्यादा प्रयास के हमें याद हो जाता है। इसके अतिरिक्त सुबह के समय रिवीजन करने के लिए भी उपयुक्त होता है। इसका कारण यह है कि दोपहर के समय ज्यादा शोरगुल होने, तनाव, दबाव और विपरीत माहौल हमारा दिमाग इसे सही ढंग से रिवाइज नहीं कर पाता है। सुबह-सुबह कठिन विषयों पर भी काबू पाया जा सकता है। वहीं सुबह-सुबह याददाश्त शक्ति (memory power)भी मजबूत होती है। अमूमन ऐसा होता है कि यदि हम एक टॉपिक को पढ़ते हैं तो उसे अकसर भूल जाया करते हैं। मगर सुबह स्टडी करने से हमें टॉपिक भूलता नहीं है। वहीं सुबह-सुबह स्टडी पर फोकस भी रहता है। हमारा ध्यान इधर-उधर नहीं भटकता है। मन शांत रहता है। इस समय एकाग्रता भी होती है। इसलिए सुबह स्टडी की जाए तो कठिन विषय पर भी हम विजय पा सकते हैं। इसके अतिरिक्त एग्जाम से पहले सुबह पढ़ना स्टूडेंट के लिए फायदेमंद साबित होता है। यदि आपके व्यवहार में सुबह जल्दी जगकर पढ़ना शामिल नहीं है तो भी एग्जाम से एक.दो महीने पहले इसे अपनी आदत बना लीजिए। इससे आप सिलेबस के सभी विषयों पर मजबूत पकड़ बना पाएंगे और आत्मविश्वास (Self-confidence) बढ़ेगा। एग्जाम के प्रेशर में आकर देर रात तक पढ़ना सेहत के लिए फायदेमंद नहीं है।