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IRDAI ने कोरोना कवच पॉलिसी की डेडलाइन सितंबर तक बढ़ाई, लोगों को मिलेगा ये फायदा
सरकार ने लोगों की बड़ी राहत देते हुए कोरोना कवच स्कीम को अगले 6 महीने के लिए बढ़ा दिया है। अब यह स्कीम सितंबर 2022 तक वैध रहगी। पहले यह पॉलिसी 31 मार्च 2022 को खत्म हो रही । इंश्योरेंस रेगुलेटर IRDAI ने पहले कोरोना महामारी को देखते हुए पॉलिसी की वेलिडिटी को 31 मार्च 2021 से बढ़ाकर 31 मार्च 2022 तक किया था पर अब इसे दोबारा बढ़ाकर 30 सितंबर 2022 तक कर दिया गया है। भारतीय बीमा नियामक और विकास प्राधिकरण यानी IRDAI की ओर से जारी बयान में बताया है कि कोरोना काल में इस पॉलिसी को जबरदस्त रिस्पॉन्स मिला है। अब कोरोना स्पेशल प्रोडक्ट को 31 मार्च 2022 से बढ़ाकर 30 सितंबर 2022 तक कर दिया गया है। इसमें पॉलिसी के रिन्यूअल और खरीद के पीरियड को 6 महीने के लिए आगे बढ़ा दिया गया है
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क्या है कोरोना कवच स्कीम
कोरोना काल में लोगों के हॉस्पिटल के बढ़ते खर्चे को देखते हुए एक कोरोना स्पेशल पॉलिसी लॉन्च की गई थी, जिसका नाम है कोरोना कवच पॉलिसी । इस पॉलिसी के द्वारा लोगों को कोरोना के इलाज के दौरान कोरोना से जुड़े खर्च जैसे अस्पताल में एडमिट होने पर खर्च, दवाइयों का खर्च आदि सभी चीजों के लिए कोरोना कवच पॉलिसी लोगों के मेडिकल खर्चों को कवर करती है। इसे भारतीय बीमा नियामक और विकास प्राधिकरण ( IRDAI) रेगुलेट करता है। इस पॉलिसी में पॉलिसी होल्डर को 50 हजार रुपये से लेकर 5 लाख रुपये तक की बीमा पॉलिसी मिलती है। वहीं इस पॉलिसी की समय सीमा है 3 महीने, 6 महीने और 9 महीने, इस पॉलिसी में आपको 500 रुपये के लेकर 6 हजार रुपये बतौर प्रीमियम देना पड़ता है। IRDAI के द्वारा तय किए गए नियमों के अनुसार इस पॉलिसी को खरीदने के लिए आपकी उम्र 18 से 65 साल के बीच होनी चाहिए। वहीं अगर किसी को पॉलिसी खरीदने के 15 दिनों के अंदर कोरोना हो गया तो यह पॉलिसी का लाभ उस समय इफेक्ट नहीं होगा।
- इस चीजों पर मिलता है इंश्योरेंस कवर
- ICU के खर्चे और डॉक्टर की कंसल्टेशन फीस
- .हॉस्पिटल का बेड का खर्चा
- .ब्लड टेस्ट, ICU किट का खर्च
- .अस्पताल से डिस्चार्ज होने के बाद 30 दिन तक का खर्च