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अमेरिका ने किया भारत का अपमान, US विदेश विभाग ने रिपोर्ट में लिखी ऐसी बातें
Last Updated on May 16, 2023 by sintu kumar
भारत और अमेरिका के बीच पिछले कुछ साल से संबंध पहले से काफी बेहतर हुए हैं। अमेरिका ने पिछले कुछ साल में भारत को अपना पार्टनर बताया है, लेकिन अमेरिका की एक रिपोर्ट में भारत का अपमान किया गया है। अमेरिकी स्टेट डिपार्टमेंट ने अंतरराष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता (Religious Freedom) पर अपनी वार्षिक रिपोर्ट जारी की है।
बता दें कि अमेरिकी विदेश विभाग द्वारा इस रिपोर्ट को पीएम नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) के अमेरिका के राजकीय दौरे से सिर्फ एक महीने पहले जारी किया गया है। इस रिपोर्ट को अंतर्राष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता कार्यालय के राजूदत रशद हुसैन ने तैयार किया है और रिपोर्ट को अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने जारी किया है, जिस पर काफी सवाल उठ रहे हैं।
वार्षिक रिपोर्ट की गई जारी
इस रिपोर्ट में दुनिया भर के देशों में धार्मिक स्वतंत्रता पर दस्तावेज तैयार किया जाता है और फिर इसे अमेरिकी कांग्रेस (America Congress) के सामने रखा जाता है।
स्वतंत्र रूप से बना रही निशाना
अंतर्राष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता कार्यालय के राजूदत रशद हुसैन का कहना है कि भारत, रूस, चीन और सऊदी अरब समेत कई सरकारें अपनी सीमाओं के अंदर कई समुदायों की आस्था को स्वतंत्र रूप से निशाना बना रही हैं।
जवाबदेही को मिलेगा बढ़ावा
अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन का कहना है कि इस रिपोर्ट का मकसद उन क्षेत्रों को उजागर करना है, जहां जवाबदेही को बढ़ावा देने के लिए धार्मिक स्वतंत्रता को निशाना बनाया जा रहा है। उनका कहना है कि इस रिपोर्ट का मकसद है कि दुनिया के विकास को उस रास्ते पर ले जाएं, जहां धार्मिक स्वतंत्रता हर किसी के लिए एक वास्तविकता हो।
भारत को लेकर कहा ऐसा
रशद हुसैन ने भारत का नाम लेकर कहा कि भारत के लीगल एक्सपर्ट्स अलग-अलग धर्मों के लीडर्स समुदायों ने हरिद्वार शहर में मुस्लिमों को लेकर अत्यधिक घृणास्पद बयान देने की निंदा की। जबकि, भारत से सहिष्णुता और बहुलवाद की अपनी ऐतिहासिक परंपराओं को बनाए रखने का आह्वान किया गया है।
की कड़ी निंदा
इस रिपोर्ट में हुसैन ने गुजरात में हिंदू उपासकों को पीटने वाले चार मुस्लिम आरोपियों की सड़क पर की गई पुलिस पिटाई करने और मध्य प्रदेश के खरगोन में सांप्रदायिक हिंसा के आरोपी मुस्लिम परिवारों पर बुलडोजर चलाने की भी कड़ी निंदा की है।
रिपोर्ट में आरएसएस का बयान
इस रिपोर्ट में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के बयान को लिया गया है। इस बयान में भागवत ने गोहत्या को लेकर कहा था कि हिंदुओं और मुस्लिमों को लेकर अलग-अलग व्यवहार नहीं करना चाहिए। उन्होंने कहा था कि गोकशी के लिए गैर-हिंदुओं की हत्या करना हिंदुत्व के खिलाफ है।
अमेरिका की सख्त आलोचना
गौरतलब है कि पिछले साल भारत के विदेश मंत्री इस रिपोर्ट को लेकर अमेरिका की सख्त आलोचना कर चुके हैं। विदेश मंत्री ने कहा था कि भारत किसी भी देश के आंतरिक मामलों में तांक झांक नहीं करता है।
200 देशों की रिपोर्ट
इस रिपोर्ट में करीब सभी 200 देशों में धार्मिक स्वतंत्रता को लेकर उस देश की सरकारों की कार्रवाई को लेकर रिपोर्ट है।