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जेसीसी बैठक की घोषणाएंः अनुबंध अवधि दो वर्ष , 1 जनवरी , 2016 से कर्मचारियों को नया वेतनमान
शिमला। हिमाचल प्रदेश के ढाई लाख कर्मचारियों के मसले सुलझाने के लिए पीटरहॉफ में सीएम जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में संयुक्त सलाहकार समिति (जेसीसी) की बैठक में कई अहम फैसले हुए हैं। बैठक में हिमाचल प्रदेश में पंजाब सरकार के छठे वेतनमान की तर्ज पर कर्मचारियों को नए वेतनमान के लाभ देने का ऐलान किया गया।
- सरकार ने 2009 की अधिसूचना लागू करते हुए अनुबंध की अवधि तीन साल से दो साल की है।
- अब अगर 58 साल की उम्र में या रिटायरमेंट के दिन भी किसी कर्मचारी की मृत्यु होती है तो उसके परिवार का सदस्य नौकरी के लिए पात्र होगा, पिछली सरकारों में ये व्यवस्था 50 साल से कम उम्र में थी।
- कर्मचारियों की अन्य मांगों पर विचार करने के लिए एक कमेटी बनेगी
- करुणामूलक आधार पर नौकरी के मसलों को सुलझाने के लिए पहले ही मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित की है। उसकी रिपोर्ट अगली कैबिनेट में जाएगी।
- स्टेनो टाइपिस्ट को 10 से सात साल में रेगुलर करने को आरएंडपी रूल में संशोधन करेंगे।
- जनजातीय कर्मचारियों को लाभ देने पर विचार करेंगे। जनजातीय क्षेत्रों में दिहाड़ीदारों को जनजातीय भत्ते देने पर भी विचार करेंगे।
- पहली जनवरी 2016 से छठे वेतनमान के लाभ दिए जाएंगे। हिमाचल प्रदेश के कर्मचारियों को साढ़े सात हजार करोड़ रुपये के लाभ मिलेंगे।
- आउटसोर्स कर्मचारियों के लिए भी कमेटी बनाई गई है।
- नए वेतनमान के लागू होने के बाद हिमाचल प्रदेश के वार्षिक बजट में कर्मचारियों के हिस्से का बजट 42 से बढ़कर 50 फीसदी हो जाएगा। इससे सरकार का 6000 करोड़ रुपये का अतिरिक्त व्यय होगा।
- न्यू पेंशन स्कीम (एनपीएस) कर्मचारियों के लिए पांच मई 2009 तक की फेमिली पेंशन 15 मई 2003 से देने की घोषणा की है। इस पर 2800 करोड़ से ज्यादा बजट खर्च होगा।
सीएम जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में छह साल बाद यह जेसीसी बैठक हुई। इस बैठक में मुख्य सचिव, सभी सचिव और विभागाध्यक्ष सहित हिमाचल अराजपत्रित कर्मचारी महासंघ के पदाधिकारी मौजूद हैं।बैठक में करीब 62 लंबित मांगों के ज्ञापन पर चर्चा हुई । बैठक के संबोधित करते हुए सीएम जयराम ठाकुर ने कहा कि प्रदेश ने कर्मचारियों के बूते विकास के आयाम छूए हैं। हिमाचल में कर्मचारियों की संख्या अन्य राज्यों से ज्यादा है। कोरोना से प्रदेश की आर्थिकी सबसे ज्यादा प्रभावित हुई है।सीएम जयराम ठाकुर ने कहा पंजाब के छठे वेतन आयोग के लागू होने के बाद कर्मचारियों और पेंशनरों के लिए करीब 50 फीसदी बजट खर्च होगा, अभी तक 42 प्रतिशत बजट खर्च होता है। हिमाचल प्रदेश में कठिन परिस्थितियों में कर्मचारियों की जो मदद की जा सकती है वह कर रहे हैं। प्रतिशोध और बदले की भावना से हमने कभी भी काम नहीं किया। सत्ता में आते ही यह कहा था कि हम बदले की भावना से काम नहीं करेंगे। कर्मचारी सरकार की रीढ़ हैं। एनपीएस कर्मचारियों को अन्य पेंशन लाभ में निवेश की छूट दी है। विभाग में 27 हजार पदों को भरने की अनुमति दी है