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विधानसभा में गूंजा एसएमसी शिक्षकों के नियमितीकरण का मामला, जाने क्या बोले मंत्री
शिमला। हिमाचल विधानसभा (Himachal Vidhan sabha) के मानसून सत्र में आज एसएमसी शिक्षकों (SMC Teachers) के नियमितीकरण का मामला गूंजा। प्रश्नकाल में एसएमसी अध्यापकों की नियमितीकरण (Regularization) करने का मामला कांग्रेस के विधायक विनय कुमार ने उठाया। उन्होंने सरकार से एसएमसी अध्यापकों के नियमितीकरण को लेकर नीति बनाने को लेकर स्पष्टीकरण मांगा। वहीं जवाब में शिक्षा मंत्री गोविंद ठाकुर (Education Minister Govind Thakur) की अनुपस्थिति में शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने बताया कि सर्वोच्च न्यायालय द्वारा 24 नवंबर 2020 को दिए गए निर्णय के दृष्टिगत मामले का परीक्षण करने की बात कही। उन्होंने बताया कि इनके मानदेय में वर्तमान सरकार ने बढ़ोतरी की है।
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वहीं विधानसभा में किन्नौर के विधायक जगत नेगी ने राजस्व मंत्री से पूछा कि 30 जून तक केंद्र सरकार से कितनी धनराशि आपदा प्रबंधन (Disaster Management) के तहत उपलब्ध हुई। जिसके जबाब में राजस्व मंत्री महेंद्र ठाकुर ने बताया कि गत 3 वर्षों में 1892 करोड़ रुपए आपदा प्रबंधन से प्राप्त हुई। इसके अलावा अरुण कुमार ने अपने क्षेत्र में कानूनगों के पद (Post) को सृजित करने बारे राजस्व मंत्री से व पच्छाद की विधायक रीना कश्यप ने राजगढ़ में मल निकासी को लेकर सवाल पूछा। जिस पर महेंद्र ठाकुर ने दोनों सदस्यों को कार्य पूरा करने का आश्वासन दिया। इसी के साथ प्रश्नकाल खत्म हो गया और सीएम ने इस साप्ताह की शासकीय कार्यसूची बारे में वक्तव्य दिया।
विपक्ष ने सदन में की नारेबाजी
कांग्रेस के विधायक धनीराम शांडिल (MLA Dhaniram Shandil) ने सदन में प्वाइंट ऑफ आर्डर के तहत मामला उठाना चाहा, लेकिन विधानसभा अध्यक्ष ने सदस्य को बोलने की इजाज़त नही दी। इस पर विपक्ष ने शोर शराबा शुरू कर दिया व विपक्ष की बात ना सुनने पर सदन में नारेबाजी शुरू कर दी। विपक्ष के इस रवैये पर संसदीय कार्यमंत्री सुरेश भारद्वाज ने नाराज़गी ज़ाहिर करते हुए अध्यक्ष को चैलेंज ना करने और नियमों का हवाला दिया साथ ही अध्यक्ष से माफी मांगने को कहा।