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जेई इलेक्ट्रिकल भर्ती में ‘बाहरी लोगों’ की बहार: HPSSC की कार्यप्रणाली पर कुलदीप राठौर ने उठाए सवाल
शिमला। हिमाचल प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कुलदीप सिंह राठौर (Kuldeep Singh Rathore) ने सरकारी नोकरियों में प्रदेश के बाहरी लोगों की नियुक्तियों पर हैरानी जताते हुए इसे प्रदेश में बेरोजगारों के साथ एक बहुत बड़ा अन्याय बताया है। उन्होंने कहा है कि कांग्रेस इसे कभी भी किसी भी स्तर पर सहन नही करेगी,और इसके खिलाफ जनांदोलन करेगी। राठौर ने जेई इलेक्ट्रिकल (JE Electrical) के 222 पदों की भर्ती में 47 बाहरी लोगों की नियुक्ति पर सवाल उठाते हुए हिमाचल प्रदेश कर्मचारी चयन आयोग (HPSSC) की कार्यप्रणाली पर भी संदेह व्यक्त किया है।
किसी बड़े फर्जीवाड़े से इंकार नहीं किया जा सकता
उन्होंने कहा है कि बाहरी राज्यों के लोगों के चयन में किसी बड़े फर्जीवाड़े से भी इंकार नहीं किया जा सकता। राठौर ने इस पूरी चयन प्रक्रिया की निष्पक्ष जांच की मांग करते हुए इन 47 पदों पर प्रदेश के बेरोजगारों को ही देने को कहा है। उन्होंने कहा है कि सीएम जयराम ठाकुर ने पिछले दिनों सचिवालय में हुई बाहरी लोगों की नियुक्तियों के संदर्भ में कहा था कि सरकार आगे से तृतीय श्रेणी के सभी पदों को प्रदेश के बेरोजगारों से ही भरेगी पर ऐसा नहीं हो रहा है। उन्होंने सरकार की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाते हुए कहा कि सरकार प्रदेश के हितों से खिलवाड़ कर रही है, जिसे कभी सहन नही किया जा सकता। उन्होंने कहा है कि सरकार की कथनी और करनी में बहुत ही अंतर हैं।
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कुलदीप राठौर ने कहा कि प्रदेश में बेरोजगारी का आंकड़ा दिनों दिन बढ़ता जा रहा है। सरकार अपने कुछ चहेतों को चोर दरवाजे से सरकारी नोकरियों में रख रही है। सभी कायदे कानून की धज्जियां उड़ाई जा रही है। उन्होंने कहा है कि कांग्रेस प्रदेश की पूरी स्थिति पर अपनी नज़र रखें हुए है,और इसके खिलाफ एक बड़ा जन आंदोलन करेगी। राठौर ने प्रदेश में एसएमसी अध्यापकों के साथ हो रहें अन्याय पर भी रोष व्यक्त करते हुए प्रेदश सरकार से इनकी सेवाओं को स्थाई करने के लिए कोई नीति बनाने की मांग की है। उन्होंने कहा है कि यह अध्यापक पिछले 8 सालों से दूर दराज के स्कूलों में अपनी श्रेष्ट नियमित सेवाएं दे रहें है, इसलिए इन के भविष्य को देखते हुए मानवीय आधार पर इन्हें इनकी योग्यता के तहत स्थाई किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा है कि पेट और पैरा टीचर्स की तरह इन्हें भी स्थाई किया जाना चाहिए।
बेरोजगार हिमाचली युवा डिप्लोमा व डिग्री दोनों ही खुद को ठगा सा महसूस कर रहे
बता दें कि हाल ही में राज्य कर्मचारी चयन आयोग हमीरपुर के द्वारा पोस्ट कोड 663 का परिणाम घोषित किया गया। जिसमें लगभग 50% डिप्लोमा अभ्यार्थी बाहरी राज्यों से चयनित हुए हैं। ज्ञात रहे कि यह भर्ती शुरू से ही विवादों में रही है जिसके चलते डिप्लोमा एवं डिग्री अभ्यर्थियों ने उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था। जिसके बाद उच्च न्यायालय ने उच्च शिक्षा को भर्ती नियमों के विरुद्ध बता कर बाहर कर दिया था। अभ्यर्थियों का कहना है कि शुरू में भी चयन आयोग ने सरकार को ज्यादातर डिग्री अभ्यार्थी बाहरी राज्यों से होने की रिपोर्ट सौंपी थी। आज तक सैकड़ों अभ्यर्थी डिग्री होने के साथ विभाग में सेवारत हैं। 663 पोस्टकोड में विभाग व सरकार द्वारा डिग्री अभ्यर्थियों के विपरीत उच्च न्यायालय मैं जवाब दायर किया था। इस परिणाम के बाद बेरोजगार हिमाचली युवा डिप्लोमा व डिग्री दोनों ही खुद को ठगा सा महसूस कर रहे हैं।
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