-
Advertisement
नए साल में कपड़े, जूते व कैब बुकिंग पर पड़ेगी महंगाई की मार, ये चीजें होगी सस्ती
Last Updated on December 30, 2021 by saroj patrwal
नया साल यानी 2022 आप के दरवाजे पर दस्तक दे रहा है। बहुत सारे लोग नए साल में अपने खर्च व बजट आदि को लेकर कुछ प्लानिंग करते हैं। नए साल में रोजमर्रा ची कुछ चीजे महंगी होने वाली है इन में कपड़े व जूते शामिल है। इसला अलावा कई उपभोक्ता वस्तुओं पर नई वस्तु एवं सेवा कर (GST) टैक्स दरें और 1 जनवरी, 2022 से जीएसटी रिजीम में कुछ बदलाव आएंगे। टैक्स में बदलाव ई-कॉमर्स वेबसाइटों और खाद्य वितरण एग्रीगेटर्स को प्रभावित करेंगे। हालांकि, नई टैक्स दरें अन्य उपभोक्ता वस्तुओं पर भी लगाई जाएंगी, जिसका असर सभी खरीदारों पर पड़ेगा। चलिए हम आपको बता देते हैं कि क्या महंगा होगा और क्या सस्ता ।
यह भी पढ़ें-नए साल के पहले दिन बन रहा है विशेष संयोग, ऐसा करने से मिलेंगे पैसे
सरकार ने कपडे, जूते और वस्त्र जैसे तैयार माल पर जीएसटी दरों को 5 से बढ़ाकर 12 फीसदी कर दिया है। 1 जनवरी, 2022 से ये आइटम और महंगे हो जाएंगे। 1,000 रुपये तक के कपड़े की वस्तुओं पर जीएसटी 5 से बढ़ाकर 12 फीसदी कर दिया गया है। इसके अलावा, बुने हुए कपड़े, सिंथेटिक यार्न, कंबल, तंबू के साथ-साथ मेज़पोश या सर्विसेट जैसे सामान सहित वस्त्रों पर जीएसटी दर में भी बढ़ोतरी की गई है। फुटवियर पर भी डायरेक्ट टैक्स 5 से बढ़ाकर 12 फीसदी कर दिया गया है। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT) ने 18 नवंबर, 2021 को परिवर्तनों को अधिसूचित किया। कपड़े और जूते की कीमतों में बढ़ोतरी के कदम का विभिन्न व्यापारी संघों ने विरोध किया था।
ओला और उबर के जरिए ऑटो या कैब की बुकिंग भी 1 जनवरी से महंगी हो जाएगी। हालांकि, बिना ऐप के सड़क पर आने वाले वाहनों को छूट मिलती रहेगी।
ऑनलाइन फूड ऑर्डर करना होगा महंगा 1 जनवरी से GST नियम में बदलाव होने जा रहा है। नए बदलाव के बाद फूड डिलीवरी प्लेटफार्म चाहे वो स्विगी हो या जोमैटो या कोई भी ऑनलाइऩ फूड सर्विस प्रोवाइडर्स अपनी सेवाओं पर 5 फीसदी जीएसटी वसूलेगी। हालांकि इसका सीधा बोझ ग्राहकों पर नहीं पड़ेगा, क्योंकि रेस्टोरेंट पहले से ही जीएसटी वसूलते हैं। अब इन सर्विस प्रोवाइडर्स कंपनियों को इन सेवाओं के बदले जीएसटी वसूलकर सरकार के पास जमा कराना होगा। कंपनियों को इसके लिए उन्हें सेवाओं का बिल जारी करना होगा।
1 जनवरी से क्या होगा सस्ता
कैंसर की दवाओं, फोर्टिफाइड चावल और बायोडीजल पर जीएसटी की दर पहले के 18से घटाकर 5 फीसदी कर दी गई है।