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शिमला। हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट (Himachal High Court) ने कुल्लू जिला के भुंतर में ब्यास नदी के पास सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट (Solid Waste Management Plant) की प्रस्तावित स्थापना को रद्द कर दिया है। न्यायालय ने राज्य सरकार को यह छूट दी है कि वह जनसाधारण की मांग के दृष्टिगत सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट के निर्माण लिए कोई अन्य जगह तलाश सकती है। न्यायाधीश सबीना और न्यायाधीश सुशील कुकरेजा की खंडपीठ ने हाट गांव निवासी नीमे राम और सोहन लाल तथा कलहेटी निवासी राम लाल द्वारा दायर याचिका को स्वीकारते हुए यह आदेश पारित किए।
कोर्ट ने पाया कि नगर पंचायत भुंतर द्वारा प्रस्तावित सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट जिस जगह पर स्थापित होना है वहां जल शक्ति विभाग की पेयजल स्कीम (drinking water scheme) पहले से मौजूद है। इतना ही नहीं उक्त स्थान पर पीने के पानी के बोर वेल भी है जिस कारण वहां सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट स्थापित करना उचित नहीं है। इससे समस्या के समाधान की बजाय पानी दूषित होने से उल्टे स्वास्थ्य समस्या पैदा हो सकती है।
मामले के अनुसार मार्केट कमेटी की कुल 11 बीघा भूमि में से 1.25 बीघा भूमि प्रस्तावित सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट लगाने के लिए नगर पंचायत भुंतर को दी गई थी। नगर पंचायत को इस काम के लिए भूमि आबंटित करने से पहले वन विभाग की अनुमति भी नहीं ली थी। वहां वन विभाग की हाउसिंग कॉलोनी और जनजातीय भवन भी है। प्लांट का प्रस्तावित स्थान व्यास नदी के समीप है। प्रार्थियों ने उक्त क्षेत्र में मिश्रित कचरे के कारण बदबू फैलने की आशंका भी जताई थी।
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