- Advertisement -
मेले व त्योहार हमारी संस्कृति के परिचायक होते हैं। इन मेलों में हम अपनी पुरातन संस्कृति की झलक देखते हैं। हिमाचल के मेले देव आस्था से जुड़े हुए हैं। इन मेलों में देवमिलन के देखने और देवताओं का आशीर्वाद पाने के लिए दूर- दूर से आते हैं। आज हम आप को जोगिंद्र नगर के गलू देवता मेले की झलक दिखा रहे हैं। इस मेले में चौहार घाटी के आराध्य देव पशाकोट ने गांव में परिक्रमा कर भक्तजनों को आशीर्वाद दिया तथा मंगल कामना करते हुए अगले वर्ष मेले में आने की कामना की । उसके बाद देव अपने देवलुओं संग अपने स्थान लौट गए । मान्यता है कि लोगों द्वारा मन्नतें पूरी होने पर मेले के दौरान देवता लोगों के घरों में पहुंचते हैं जिसे जातर का नाम दिया जाता है
- Advertisement -