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असम की संजना के इस हुनर को जिस ने भी देखा कायल हो गया
Last Updated on March 30, 2023 by sintu kumar
मंडी शहर में इंदिरा मार्किट की छत पर आयोजित पारंपरिक व्यंजनों व पारंपरिक हस्तशिल्प मेले में असम की संजना लांबा की कैलीग्राफी लोगों की पहली पंसद बनी रही। जिसकी नजर भी संजना की कैलीग्राफी में जाती तो वह वहीं रूक जाता। संजना लांबा ने बताया कि उन्हें बचपन से ही पेंटिग का शौक था पर उनको ज्यादा रूचि कैलीग्राफी में थी।
हिमाचल की संस्कृति को कैलीग्राफी से दर्शा रही संजना
मूलतः असम की रहने वाली संजना पिछले 4 वर्षों से मंडी में ही रह रही हैं, और यही से पढ़ाई कर रही हैं। उन्होंने कहा कि कोरोना काल में उन्होंने अपने हुनर को आजमाया और आज वह उस मुकाम तक पहुंच चुकी हैं कि अपनी आजिविका भी कमा सकती हैं। उन्होंने कहा कि इसके साथ वह वॉल राइटिंग व पेंटिंग भी करती हैं। हिमाचल की संस्कृति को कैलीग्राफी के माध्यम से प्रकाशित करने को लेकर संजना इन दिनों कार्य कर रही हैं।
एक विजुअल आर्ट है कैलीग्राफी
देखने में सुन्दर शब्दों को लिखने की कला को कैलीग्राफी कहा जाता है। कैलीग्राफी को हिन्दी में अक्षरांकन कहते हैं। कैलीग्राफी एक विजुअल आर्ट है। कैलीग्राफी लिखने वाले प्रोफेशनल आर्टिस्ट को कैलीग्राफर कहते हैं। कैलीग्राफर कई तरह के फॉन्ट, स्टाइल, मॉडर्न और क्लासिक तरीकों का प्रयोग करते हुए बेहतरीन सुलेख लिखते हैं। एक कैलीग्राफर सुंदर अक्षरों को लिखने के लिए खास तरह के पेन, निब, पेंसिल, टूल, ब्रश आदि का इस्तेमाल करते हैं।