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कर्फ्यू के बीच आखिर BJP के असंतुष्टों के लिए किसने खुलवाए Rest House Kangra के दरवाजे, पढ़ें पूरा माजरा
कांगड़ा। पीडब्ल्यूडी रेस्ट हाउस कांगड़ा में हुई असंतुष्ट बीजेपी नेताओं (Dissident BJP leaders) की बैठक पार्टी के भीतर बड़ा घमासान तो मचा ही गई है। अब सवाल राजनीति से हटकर ये उठ रहा है कि आखिर बीजेपी के इन बागी (Rebel) करार दिए गए नेताओं के लिए कर्फ्यू (Curfew) के बीच रेस्ट हाउस के दरवाजे किसने खुलवाए। ऐसा नहीं है, कि ये सभी यकायक ही यहां पहुंच गए, बाकायदा 12 नेताओं के आने की सूचना रेस्ट हाउस को मुहैया करवाई गई।
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शनिवार को इतने ही लोगों के लिए यहां खाना बनाया गया। ये अलग बात है कि मौके की नजाकत को समझकर कुछ इस बैठक से पहले ही किनारा कर गए, हालांकि आने के लिए सहमति दी हुई थी। इसके चलते खाना तो 12 के लिए बना था, पर खाने वाले कम पड़ गए। लेकिन एक बड़ा सवाल बार-बार यही खड़ा हो रहा है कि कर्फ्यू के बीच आखिर रेस्ट हाउस किसके कहने पर खोला गया।
प्रशासन के तहत चल रहे हैं रेस्ट हाउस
कोविड-19 के चलते रेस्ट हाउस इन दिनों प्रशासन (Administration) के तहत चल रहे हैं। इसके चलते पीडब्ल्यूडी रेस्ट हाउस कांगड़ा (PWD Rest House Kangra) भी उसी श्रेणी में आता है। यहीं पर बीजेपी के असंतुष्ट नेताओं ने कांगड़ा-चंबा के बीजेपी सांसद किशन कपूर (Kishan Kapoor) की रहनुमाई में बैठक की।
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अभी तक जो बात छनकर सामने आई है उसके मुताबिक रेस्ट हाउस के दरवाजे एक पूर्व विधायक (Ex MLA) के कहने पर खोले गए थे। जैसा कि गैर आधिकारिक तौर पर कहा जा रहा है। बताया जा रहा है कि उन्होंने कहा कि सांसद आएंगे इसलिए वीआईपी सैट खोल देना। इसके साथ ही वह 12 लोगों के खाने का सामान भी साथ लेकर आए थे, उसी से खाना बना था। अगर बात पीडब्ल्यूडी की करें तो वहां से तो साफ कहा जाएगा कि इन दिनों रेस्ट हाउस हमारे पास नहीं है, इसे प्रशासन ने अपने पास ले रखा है। जिसकी एक फोटो प्रति भी सलंग्न है।
चावल के साथ माह-चने की दाल व आलू परोसे गए
बैठक में 12 नेताओं को आना था ये बात इससे पुख्ता हो रही है कि खाने के लिए इतने ही लोगों की संख्या बताई गई थी। खाने में चावल के साथ माह-चने की दाल व आलू परोसे गए थे। जबकि,रेस्ट हाउस में किसी तरह की कोई एंट्री दर्ज नहीं की गई है। चूंकि,बैठक के लिए असंतुष्ट बीजेपी नेता 11 बजे के आसपास पहुंचे और दो बजे तक रवाना हो गए। बैठक शायद लंबी भी चलती लेकिन दो बजे के बाद कर्फ्यू का वक्त शुरू हो जाने के चलते इसके बाद वह नहीं रूके होंगे। बैठक को लेकर पार्टी स्तर पर तो घमासान मचा ही हुआ है,प्रशासनिक स्तर पर भी सवाल उठ रहे हैं कि कोविड-19 (Covid-19) के इस दौर में कैसे एक बैठक के लिए रेस्ट हाउस के दरवाजे खोले गए।
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इन सभी सवालों के जवाब अभी आना बाकी हैं। बैठक में बीजेपी सांसद किशन कपूर, पूर्व मंत्री रविंद्र रवि (Former Minister Ravindra Ravi) ,पूर्व विधायक संजय चौधरी, प्रदेश कार्यसमिति सदस्य घनश्याम शर्मा, बलदेव ठाकुर, निर्मल सिंह व डॉ नरेश बरमानी शामिल हुए थे। इसके ठीक एक दिन बाद रविवार को बीजेपी के कांगड़ा-चंबा जिला के विधायकों (MLAs) व बीजेपी नेताओं ने असंतुष्ट नेताओं को बागी करार देते हुए इनके खिलाफ पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा (BJP National President JP Nadda) को पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग उठाई है।
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