-
Advertisement

Credit Card Fraud से बचना है तो बनें जिम्मेदार, Video Report में विस्तार से समझिए सावधानियां
नई दिल्ली। क्रेडिट कार्ड यानी फाइनेंशियल संस्थानों द्वारा जारी किया जाने वाला एक प्लास्टिक कार्ड है, जो आपको अपनी खरीद के लिए भुगतान करने के लिए प्री-अप्रूव्ड लिमिट से पैसे उधार लेने की सुविधा देता है। आज के समय में लोग खरीददारी के लिए इसका काफी इस्तेमाल करते हैं। कई बार हमें कुछ जरूरी खरीदना होता है औऱ हमारे पास उतने पैसे नहीं होते तो ऐसे में क्रेडिट कार्ड (Credit Card) बहुत काम की चीज साबित होता है। लेकिन, इन दिनों जैसे कि ऑनलाइन फ्रॉड काफी बढ़ गया है। किसी अन्य वित्तीय इंस्ट्रुमेंट की तरह, धोखाधड़ी करने वाले इसको भी निशाना बनाने लगे हैं और आपकी व्यक्तिगत जानकारियों का इस्तेमाल अपने फायदे के लिए करते हैं।
फ्रॉड (Fraud) करने वाले आपके कार्ड, पॉसवर्ड, सीवीवी, ओटीपी या क्रेडिट कार्ड नम्बर को ही चुराने की कोशिश कर सकते हैं। आप धोखाधड़ी का शिकार हो जाएं इससे पहले ही आपको जागरूक होना बहुत जरूरी है। क्रेडिट कार्ड के इस्तेमाल से जुड़ी कई ऐसी सावधानियां हैं जिनका आप इस्तेमाल कर सकते हैं ताकि धोखे से किए जाने वाले लेनदेनों की संभावनाओं को कम किया जा सके। इस वीडियो रिपोर्ट (Video Report ) में हम आपको इसकी विस्तार से जानकारी देंगे …
यह भी पढ़ें: आधार असली है या नकली, पता लगाने के लिए देखिए ये वीडियो रिपोर्ट
इसके लिए सबसे पहला स्टेप है क्रेडिट कार्ड की फिजिकल सुरक्षा को सुनिश्चित करना –
सबसे पहली और मुख्य बात यह है कि जब आप क्रेडिट कार्ड प्राप्त करते हैं तो यह सुनिश्चित कर लें कि लिफाफा कटा-फटा तो नहीं है। अपनी ऑनरशिप को स्थापित करने के लिए आपको इसका इस्तेमाल प्वाइंट ऑफ सेल (POS) पर करने से पहले क्रेडिट कार्ड के पीछे तत्काल हस्ताक्षर करने चाहिए। जब आप कार्ड को अपने साथ रखते हैं, तो यह सुनिश्चित कर लें कि आपका पर्स सुरक्षित है। जब आप कार्ड को किसी लेनदेन के लिए देते हैं तो तय करें कि ऐसा आपके सामने ही किया जाए। ऐसे लोग जो आपके कंधे से झांकते हैं जब आप अपना पिन या पॉसवर्ड टाइप करते हैं। इस तरह के लोगों से सावधान रहें।
इसके बाद जरूरी है चिप वाला क्रेडिट कार्ड इस्तेमाल करें –
मेग्नेटिक स्ट्रिप्स वाले पुराने कार्ड की क्लोनिंग और दुरूपयोग काफी आसान होता है। आरबीआई ने कार्ड जारी करने वालों को आदेश दिया है कि इन कार्डों की बजाए ईएमवी कार्ड जारी करें- मूल रूप से स्मार्ट चिप वाले कार्ड जिनको हैक करना मुश्किल होता है। सुनिश्चित करें कि आपने अपने कार्ड्स को इन ईएमवी कार्ड्स से अपग्रेड करवा लिया है। यदि नहीं तो तत्काल अपने कार्ड जारीकर्ता से संपर्क करें। ईएमवी कार्ड के लिए आपको पिन भी सेट करना होगा जिसके बिना लेनदेन नहीं किए जा सकेंगे। जैसे ही आपको यह कार्ड मिलता है, सुरक्षा के लिए आप उसी समय पिन सेट करते हैं।
यह भी पढ़ें: Home Loan पर SBI दे रहा 0.70% तक की छूट, पूरी जानकारी के लिए देखें ये वीडियो रिपोर्ट
अगला है लेनदेन चालू करना और खर्चों की कैपिंग करना –
आरबीआई ने बैंकों को यह आदेश दिया है कि वे ऐप और वेब-आधारित कंट्रोल पैनल प्रदान कराएं जिनके साथ, आप घरेलू, ऑनलाइन, अंतरराष्ट्रीय, कॉन्टेक्टलेस, और एटीएम लेनदेन करना चालू कर सकें और रोक सकें और साथ ही अपने लेनदेनों की कैप (सीमा) तक कर सकें। अपने क्रेडिट कार्ड के फोन ऐप या वेबसाइट पर इस कंट्रोल पैनल को एक्सेस करना और जिन लेनदेनों का आप इस्तेमाल नहीं कर रहें हैं, उन्हें बन्द करना समझदारी होगी। उदाहरण के लिए, यदि आप विदेश नहीं जा रहे हैं तो अंतरराष्ट्रीय लेनदेनों को अक्षम करना अच्छी सोच साबित होगा क्योंकि ऐसा करने से विदेशों से धोखेबाजों से इसका दुरूपयोग नहीं किया जा सकेगा।
इसके बाद जरूरी है मजबूत सिक्योरिटी कोड्स तय करें और उन्हें नियमित रूप से अपडेट करें –
आपके क्रेडिट कार्ड के ऑनलाइन लेनदेन पॉसवर्ड द्वारा सुरक्षित किए गए हैं। आपको अपनी क्रेडिट कार्ड वेबसाइट पर मजबूत पॉसवर्ड सेट करना चाहिए। आसान विकल्प जैसे आपका नाम, जन्म की तारीख, या अन्य ब्यौरे जैसे आसान पासवर्ड विकल्पों से बचें जिन्हें दूसरों द्वारा आसानी से एक्सेस किया जा सकता है। मजबूत पॉसवर्ड में अप्पर और लोअर केस करेक्टर्स के साथ संख्याओं दोनों का मिक्स शामिल होता है। यह भी सलाह दी जाती है कि आप नियमित रूप से अपने पॉसवर्ड को बदलते रहें। अपने पॉसवर्ड को अवश्य याद कर लें और किसी पेपर आदि पर इसे लिखने से बचें। आपको अपने कार्ड का पिन भी जरूर नियमित रूप से बदलना चाहिए और सुनिश्चित करें कि जब आप पीओएस लेनदेन कर रहे हों तो आप पिन लिखते समय देख लें कि आपके आसपास कोई न हो। यहां यह कहने की आवश्यकता नहीं है कि अपने सीवीवी, पिन, ओटीपी या पॉसवर्ड को किसी के साथ साझा न करें।
अगर आपको खार्ड खो जाता है तो इसे तुरंत ब्लॉक करवा दें –
यदि आपको कार्ड खो जाता है अथवा चुरा लिया जाता है, तो तत्काल अपने बैंक को सूचित करें और किसी भी धोखाधड़ी या दुरूपयोग की रोकथाम करने के लिए अपने कार्ड को ब्लॉक करवा दें। यदि ब्लॉक करवाने के बाद आपको अपना कार्ड फिर से मिल जाता है, तो इसका इस्तेमाल न करें। इसे काट कर सुरक्षित रूप से फेंक दें।
यह भी पढ़ें: नौ महीने में 11 हजार से ज्यादा सस्ता हुआ सोना, चांदी की कीमत में उछाल
स्किमर्स से हमेशा सावधान रहिए –
जब भी आप कोई पीओएस या एटीएम लेनदेन करते हैं, तो इस बात की जांच कर लें कि कार्ड रीडर हैडर के साथ कोई अजीबों-गरीब सी अटेचमेंट्स नहीं लगी हुई हैं। यह अटैचमेंट्स स्किमिंग डिवाइसेज हो सकती हैं- मूल रूप से ऐसे टूल जो उस समय आपके कार्ड की जानकारी को चुराते हैं जब आप अपने कार्ड को स्वाइप करते हैं। अप्राधिकृत लेनदेन करने के लिए आपकी चुराई गई जानकारी का इस्तेमाल आपके कार्ड का क्लोन तैयार करने के लिए किया जा सकता है। यदि आप मशीन पर लूज़ फिट किए गए कार्ड रीडर के साथ किसी अटेचमेंट को देखते हैं, जहां पर कार्ड रीडर पैनल से बाहर नजर आता है, या जिसमें सिक्योरिटी पिन ओवरले है तो लेनदेन ना करें।
नियमित रूप से अपने बिलिंग स्टेटमेंट की जांच करें –
ईमेल और एसएमएस अलर्ट्स के साथ-साथ ईमेल स्टेटमेंट को सक्षम बनाएं ताकि आपको अपने लेनदेनों के बारे में अलर्ट किया जा सके। आपको अपने कार्ड स्टेटमेंट की नियमित रूप से समीक्षा करनी चाहिए ताकि लेनदेनों की जांच की जा सके। यदि आपको किसी ऐसे लेनदेन के बारे में अलर्ट मिलता है जिसे आपने नहीं किया है, तो आपको तत्काल उसकी जानकारी कार्ड प्रदाता को देनी चाहिए। इससे धोखे से किए जाने वाले लेनदेन की रोकथाम करने की आपकी संभावना बढ़ जाएगी और आपका पैसा सुरक्षित रहेगा। साथ ही, एक खास अवधि के बाद आप अपनी स्टेटमेंट की प्रतियों को नष्ट कर दें, ताकि दुरूपयोग की रोकथाम की जा सके।
यह भी पढ़ें: 108 एकड़ में होगा राम मंदिर का विस्तार, राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने खरीदी 7,285 वर्ग फुट जमीन
ध्यान रखिए सुरक्षित रूप से ब्राउजिंग करें और डाउटफुल लिंक पर क्लिक ना करें –
आपको अपने क्रेडिट कार्ड का ऑनलाइन इस्तेमाल करते समय सावधान रहना चाहिए। आप ऑनलाइन भुगतानों के लिए सिर्फ सुरक्षित और भली-भांति जाने पहचाने पेमेंट गेटवे पर ही भुगतान करते हैं। हमेशा इस बात की जांच कर लें कि क्या पेमेंट लिंक सुरक्षित है अथवा नहीं- आमतौर पर इसे ब्राउजर एड्रेस बार में ग्रीन पैडलॉक से देखा जा सकता है। ऐसे किसी भी लिंक पर क्लिक न करें जिन पर संदेह हो, विशेष रूप से ऐसे लिंक जिनमें संदेहास्पद ईमेल होती हैं जिनमें आप से अपने अकाउंट के बारे में तत्काल कार्रवाई करने के लिए कहा जाता है। उन एड्रेसेज की वैलिडिटी की जांच कर लें जहां से ऐसी मेल आती हैं। अंत में, हालांकि बड़े ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म्स बहुत ही अधिक सुरक्षित होते हैं, लेकिन कम जाने पहचाने प्लेटफॉर्म्स पर अपने क्रेडिट कार्ड की जानकारी को सेव करने से बचें, जिनकी इन्फार्मेशन सिक्योरिटी क्रेडेंशियल्स की पुष्टि नहीं की गई है। यदि ऐसी वेबसाइट्स को हैक कर लिया जाता है, तो आपकी क्रेडिट कार्ड जानकारी को दुरूपयोग किया जा सकता है।